#गुमला #टांगीनाथ : सावन सोमवारी पर घटी दर्दनाक घटना — मंदिर की सीढ़ियों पर गिरकर गई जान
- गुमला के डुमरी प्रखंड स्थित बाबा टांगीनाथ धाम में हुआ हादसा।
- सिमडेगा निवासी 17 वर्षीय रविन्द्र साय की दर्शन के दौरान अचानक बिगड़ी तबीयत।
- सीढ़ियां चढ़ते समय गिर पड़े श्रद्धालु, तत्काल मदद के बाद भी नहीं बची जान।
- स्वास्थ्य टीम ने सलाह दी डुमरी स्वास्थ्य केंद्र ले जाने की, रास्ते में मौत।
- परिजनों ने बताया, पहले से चक्कर आने की समस्या थी।
सावन सोमवार की आस्था के बीच बाबा टांगीनाथ धाम में हुई यह घटना सभी के लिए दर्दनाक बन गई। जहां भक्ति का उत्साह चरम पर था, वहीं एक श्रद्धालु की मौत ने माहौल को शोक में बदल दिया। अचानक गिरी जान ने न केवल परिवार, बल्कि हजारों श्रद्धालुओं को भी स्तब्ध कर दिया।
दर्शन के दौरान गिर पड़े रविन्द्र साय
सोमवार को सावन के पवित्र अवसर पर रविन्द्र साय, पिता राजकुमार साय, निवासी बेलगांव (कुरडेग, सिमडेगा), उम्र 17 वर्ष, अपने दोस्तों के साथ बाबा टांगीनाथ धाम में पूजा करने आए थे। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, जैसे ही वह मंदिर की आखिरी दो सीढ़ियां चढ़ रहे थे, अचानक चक्कर आने से वहीं गिर पड़े।
स्वास्थ्य कर्मियों की तत्परता भी न बचा पाई जान
घटना के बाद साथी श्रद्धालुओं ने उन्हें तुरंत उठाकर मंदिर परिसर के नीचे मौजूद स्वास्थ्य विभाग की टीम को दिखाया। प्राथमिक जांच के बाद स्वास्थ्य कर्मियों ने उन्हें डुमरी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ले जाने की सलाह दी, ताकि बेहतर उपचार मिल सके।
हालांकि, डुमरी स्वास्थ्य केंद्र पहुंचने से पहले ही उनकी मौत हो गई।
स्वास्थ्य चिकित्सा प्रभारी अलबेला केरकेट्टा ने बताया: “जब युवक को स्वास्थ्य केंद्र लाया गया, तब तक उसकी मौत हो चुकी थी। ऐसा प्रतीत होता है कि उसने रास्ते में ही दम तोड़ दिया था।”
परिजनों का दर्द, पुरानी बीमारी का जिक्र
मृतक के परिवार ने बताया कि रविन्द्र को पहले से चक्कर आने की समस्या थी और कई बार वह अचानक गिर भी पड़ता था। संभव है कि गर्मी, भीड़ और थकान ने उनकी तबीयत और बिगाड़ दी हो। फिलहाल परिवार को सूचना दे दी गई है और वे डुमरी पहुंच रहे हैं।
श्रद्धालुओं में शोक का माहौल
इस हृदयविदारक घटना के बाद बाबा टांगीनाथ धाम में आए हजारों श्रद्धालु सदमे में हैं। जहां भक्तिमय माहौल था, वहां अचानक गम का सन्नाटा छा गया। सावन सोमवार की यह घटना हर किसी को सोचने पर मजबूर कर रही है कि स्वास्थ्य सतर्कता कितनी जरूरी है।
न्यूज़ देखो: आस्था के बीच सतर्कता जरूरी
यह घटना बताती है कि धार्मिक आस्था जितनी महत्वपूर्ण है, उतना ही जरूरी है स्वास्थ्य का ध्यान रखना। आयोजन स्थलों पर चिकित्सा सुविधा मजबूत होनी चाहिए, ताकि ऐसे हादसों से बचा जा सके।
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