
#सोनेहारा #दुर्गा_पूजा : महासप्तमी के पावन अवसर पर मां भगवती संघ सोनेहारा ने भव्य कलश यात्रा और पूजा पंडाल के उद्घाटन के साथ भक्तों के लिए देवी मां का पट खोला
- सोनेहारा गांव में मां भगवती संघ सोनेहारा के तत्वावधान में दुर्गा पूजा महोत्सव का भव्य आगमन।
- महासप्तमी पर कलश यात्रा की शुरुआत पंचदेव मंदिर प्रांगण स्थित पूजा पंडाल से की गई।
- पूजा पंडाल और कलश यात्रा का निर्माण शिवकुमार यादव, मनोज कुमार सिंह, संतोष कुमार यादव के मार्गदर्शन में गांव के युवाओं ने किया।
- पंडाल के निर्माण में मुख्य कारीगर रंजित सिंह और उनके सहयोगी प्रमोद प्रजापति, रमेश प्रजापति, अयोध्या साह, शक्ति, राजू रंजन, धर्मेंद्र, प्रवीण एवं रंजीत ने अहम योगदान दिया।
- कलश यात्रा संगम नदी के तट पर पहुंची, जहां आचार्य संजय पांडे जी द्वारा विधिवत पूजा अर्चना की गई।
- सैकड़ों श्रद्धालुओं ने कलश धारण कर यात्रा में भाग लिया और पूजा के बाद फलाहार वितरण किया गया।
सोनेहारा गांव में महासप्तमी के पावन अवसर पर मां भगवती संघ सोनेहारा ने भव्य दुर्गा पूजा महोत्सव का आयोजन किया। पूजा का मुख्य आकर्षण गांव के युवाओं द्वारा एक महीने के अथक प्रयास से निर्मित भव्य पंडाल रहा, जिसमें मां दुर्गे का पट भक्तों के दर्शन के लिए विधिवत खोला गया। पूजा समिति के अध्यक्ष शिवकुमार यादव, सचिव मनोज कुमार सिंह, और कोषाध्यक्ष संतोष कुमार यादव ने कार्यक्रम के संचालन और व्यवस्थापन में प्रमुख भूमिका निभाई।
भव्य कलश यात्रा
महासप्तमी की शुरुआत भव्य कलश यात्रा से हुई। यह यात्रा पंचदेव मंदिर प्रांगण स्थित पूजा पंडाल से प्रारंभ होकर गांव के सभी देवस्थलों का भ्रमण करती हुई आगे बढ़ी। इस यात्रा में सैकड़ों श्रद्धालु, विशेषकर महिलाएं और कुंवारी कन्याएं शामिल हुईं, जिन्होंने सर पर कलश रखकर धार्मिक भावनाओं का प्रदर्शन किया।
कलश यात्रा महत्वपूर्ण स्थल महतवाई टोला स्थित संगम नदी के तट पर पहुंची, जहां आचार्य संजय पांडे ने विधिवत पूजा अर्चना की। इस अनुष्ठान के दौरान सभी भक्तों ने अपने कलशों में जल भरा और मुख्य बाजार होते हुए पुनः पूजा पंडाल पहुंचे। पंडाल में कलश स्थापित करने के बाद वैदिक मंत्रोच्चार के बीच मां दुर्गे की पूजा की गई और देवी मां का पट भक्तों के दर्शन के लिए खोल दिया गया।
पंडाल और युवाओं का योगदान
पूजा पंडाल की भव्यता और कलात्मकता का श्रेय मुख्य कारीगर रंजित सिंह और उनके सहयोगियों को जाता है। पंडाल के निर्माण में प्रमोद प्रजापति, रमेश प्रजापति, अयोध्या साह, शक्ति, राजू रंजन, धर्मेंद्र, प्रवीण और रंजीत ने महत्वपूर्ण योगदान दिया। यह पंडाल न केवल भक्तों को आकर्षित करता है, बल्कि गांव के युवाओं के सहयोग और एकजुटता का प्रतीक भी है।
पूजा समिति ने सभी कलशधारी भक्तों को फलाहार वितरण भी किया। इस धार्मिक अनुष्ठान में सैकड़ों श्रद्धालु उपस्थित रहे, जिससे पूरे गांव का माहौल भक्तिमय और उल्लासपूर्ण हो गया।

न्यूज़ देखो: सोनेहारा में महासप्तमी पर भव्य कलश यात्रा और पूजा से युवाओं और ग्रामीणों में बढ़ी धार्मिक एकता
यह आयोजन दर्शाता है कि स्थानीय स्तर पर धार्मिक और सांस्कृतिक कार्यक्रम केवल उत्सव का माध्यम नहीं, बल्कि सामुदायिक एकता, युवाओं की सक्रिय भागीदारी और धार्मिक आस्था का प्रतीक भी हैं। युवा सक्रियता और भक्ति भावना ने पूरे गांव में उत्सव का रंग भर दिया।
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भक्तिमय समाज के लिए एकजुटता का संदेश
स्थानीय स्तर पर ऐसे आयोजन युवाओं और ग्रामीण समाज को धर्म, संस्कृति और भाईचारे से जोड़ने का काम करते हैं। आइए हम सब मिलकर पूजा पंडाल में पहुंचकर माता रानी का आशीर्वाद प्राप्त करें और सामाजिक सौहार्द बनाए रखने में सक्रिय योगदान दें। अपनी राय कमेंट करें, इस खबर को दोस्तों और परिवार के साथ साझा करें और भक्ति-संस्कृति को आगे बढ़ाने में हिस्सा लें।