#लातेहार #बाघसंरक्षण : पीटीआर में तैयार प्रचार वाहन के जरिए ग्रामीणों और पर्यटकों को बाघ संरक्षण के प्रति संवेदनशील बनाने की योजना
- बरवाडीह (लातेहार) में बाघों के संरक्षण के लिए विभागीय प्रचार वाहन सभी आवश्यक उपकरणों के साथ पूरी तरह तैयार किया गया है।
- रेंजर उमेश कुमार दूबे ने बताया कि वाहन में उच्च गुणवत्ता वाले एलसीडी स्क्रीन लगे हैं, जिनके माध्यम से लोगों को बाघ संरक्षण के महत्व पर जागरूक किया जाएगा।
- प्रचार वाहन में सोवेनियर शॉप जैसी सुविधा भी उपलब्ध है, जिससे जागरूकता कार्यक्रम और पर्यटन गतिविधियों में संतुलन बना रहेगा।
- वाहन को कई तकनीकी उपकरणों से लैस किया गया है, ताकि इसे विभिन्न कार्यक्रमों और ग्रामीण क्षेत्रों में प्रभावी ढंग से उपयोग किया जा सके।
- अभियान का उद्देश्य वन्यजीव सुरक्षा, पर्यावरण संरक्षण और स्थानीय समुदाय में जागरूकता बढ़ाना है।
बरवाडीह वन क्षेत्र प्रशासन ने बताया कि इस प्रचार वाहन के माध्यम से बाघ संरक्षण के संदेश को ग्रामीणों, पर्यटकों और स्कूलों तक पहुँचाया जाएगा। वाहन में लगे एलसीडी स्क्रीन पर बाघों की जीवनशैली, उनकी सुरक्षा की जरूरत और अवैध शिकार रोकने के तरीकों की जानकारी प्रदर्शित की जाएगी। इसके अलावा वाहन में अन्य महत्वपूर्ण उपकरणों की मदद से प्रभावी प्रस्तुति दी जाएगी।
रेंजर उमेश कुमार दूबे ने कहा: “हमारा प्रयास है कि जनता को बाघ संरक्षण के प्रति जागरूक किया जाए और उन्हें यह समझाया जाए कि वन्य जीवन का संरक्षण हमारे पारिस्थितिकी तंत्र के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है।”
प्रचार वाहन की विशेषताएँ
प्रचार वाहन को सोवेनियर शॉप जैसी सुविधाओं से लैस किया गया है ताकि लोग वन्यजीव संरक्षण से जुड़े स्मृति चिन्ह खरीदकर इस अभियान का समर्थन कर सकें। इसके अलावा वाहन में आधुनिक साउंड सिस्टम और विजुअल डिस्प्ले की व्यवस्था भी की गई है। यह वाहन पर्यटकों और ग्रामीणों तक बाघ संरक्षण का संदेश पहुँचाने में सक्षम रहेगा।
सामाजिक और पर्यावरणीय महत्व
वन्यजीव संरक्षण केवल वन विभाग की जिम्मेदारी नहीं है, बल्कि स्थानीय समुदाय की जागरूकता और सहयोग भी आवश्यक है। प्रचार वाहन ग्रामीणों में जागरूकता पैदा करने, अवैध शिकार रोकने और पर्यावरण के प्रति संवेदनशीलता बढ़ाने में अहम भूमिका निभाएगा।
न्यूज़ देखो: बरवाडीह में बाघ संरक्षण अभियान का डिजिटल और तकनीकी दृष्टिकोण
यह पहल दिखाती है कि वन विभाग न केवल संरक्षण के लिए प्रतिबद्ध है बल्कि तकनीक का उपयोग करके प्रभावी जागरूकता अभियान चला रहा है। आधुनिक उपकरणों से लैस प्रचार वाहन से ग्रामीण और पर्यटक दोनों तक संदेश पहुँच सकेगा।
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सक्रिय संरक्षण और जागरूकता की आवश्यकता
सामुदायिक भागीदारी और जागरूकता के माध्यम से ही वन्यजीवों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सकती है। अपने आसपास के लोगों को बाघ और वन्यजीव संरक्षण के महत्व से अवगत कराएँ। इस खबर को साझा करें और जागरूकता फैलाएँ।