
#गिरिडीह #पर्यटन_विकास : बगोदर प्रखंड का खंभरा इको पार्क सर्दियों में पिकनिक प्रेमियों की पहली पसंद बनता जा रहा है।
गिरिडीह जिले के बगोदर प्रखंड अंतर्गत खंभरा गांव में विकसित किया गया खंभरा इको पार्क तेजी से एक प्रमुख पिकनिक और पर्यटन स्थल के रूप में उभर रहा है। जंगलों के बीच स्थित यह इको पार्क तालाब, बोटिंग और प्राकृतिक हरियाली के कारण स्थानीय लोगों के साथ-साथ दूर-दराज से आने वाले सैलानियों को आकर्षित कर रहा है। दिसंबर से पिकनिक सीजन के शुरू होते ही यहां पर्यटकों की संख्या में लगातार वृद्धि देखी जा रही है। जापान सरकार के सहयोग से यह पार्क अभी भी विकास के चरण में है, लेकिन मौजूदा सुविधाएं भी इसे खास बनाती हैं।
- बगोदर प्रखंड के खंभरा गांव में स्थित नव विकसित इको पार्क।
- जंगल और पहाड़ियों के बीच तालाब और बोटिंग मुख्य आकर्षण।
- दिसंबर–जनवरी में पिकनिक सीजन के दौरान बढ़ती भीड़।
- जापान सरकार के सहयोग से विकासाधीन परियोजना।
- हाल ही में शुरू हुई पार्किंग सुविधा, एंट्री निःशुल्क।
गिरिडीह जिले में पर्यटन की संभावनाओं को नया आयाम देते हुए खंभरा इको पार्क अब बगोदर क्षेत्र का पहचान बनता जा रहा है। प्राकृतिक सौंदर्य, शांत वातावरण और शहर की भीड़-भाड़ से दूर यह स्थान खासतौर पर पिकनिक प्रेमियों, परिवारों और युवाओं के लिए आकर्षण का केंद्र बन रहा है। सर्दियों के मौसम में यहां आने वालों की संख्या लगातार बढ़ रही है।
खंभरा इको पार्क की भौगोलिक स्थिति
खंभरा इको पार्क गिरिडीह जिले के बगोदर प्रखंड अंतर्गत बनपुरा/खंभरा गांव में स्थित है। यह पार्क बगोदर बाजार से लगभग 10 किलोमीटर और गिरिडीह शहर से करीब 50–60 किलोमीटर की दूरी पर है। सड़क मार्ग से यह स्थान आसानी से पहुंच योग्य है, जिससे निजी वाहन, बाइक या कार से आने वाले सैलानियों को किसी प्रकार की परेशानी नहीं होती।
प्राकृतिक वातावरण बना सबसे बड़ी खासियत
इको पार्क घने जंगलों और हरियाली से घिरा हुआ है। यहां की शांत फिजा, पक्षियों की चहचहाहट और चारों ओर फैली हरियाली पर्यटकों को प्रकृति के करीब ले जाती है। शहरी जीवन की भागदौड़ से दूर यह स्थान मानसिक शांति और सुकून प्रदान करता है। सुबह और शाम के समय यहां का नजारा और भी मनमोहक हो जाता है।
तालाब और बोटिंग आकर्षण का केंद्र
खंभरा इको पार्क का सबसे बड़ा आकर्षण यहां स्थित फ्रेश वाटर तालाब है, जिसमें बोटिंग की सुविधा उपलब्ध है। तालाब के किनारे बैठकर प्रकृति का आनंद लेना या नाव की सवारी करना पर्यटकों के लिए यादगार अनुभव बन रहा है। खासकर बच्चों और युवाओं में बोटिंग को लेकर खास उत्साह देखा जा रहा है।
वॉकिंग ट्रेल और एक्सरसाइज जोन
पार्क में वॉकिंग ट्रेल्स और एक्सरसाइज जोन विकसित किए जा रहे हैं, जो मॉर्निंग वॉक और स्वास्थ्य के प्रति जागरूक लोगों के लिए उपयोगी साबित हो रहे हैं। हालांकि पार्क अभी पूरी तरह विकसित नहीं हुआ है, फिर भी उपलब्ध सुविधाएं इसे घूमने लायक बनाती हैं।
पिकनिक के लिए आदर्श स्थल
दिसंबर और जनवरी के महीनों में खंभरा इको पार्क पिकनिक मनाने वालों से गुलजार रहता है। परिवार, मित्र समूह और युवा यहां वनभोज मनाने पहुंचते हैं। खुले स्थान, छायादार पेड़ और शांत माहौल इसे एक आदर्श पिकनिक स्पॉट बनाते हैं।
सुविधाएं और व्यवस्थाएं
पर्यटकों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए हाल ही में पार्किंग व्यवस्था शुरू की गई है।
- चार पहिया वाहन पार्किंग शुल्क: ₹20
- दो पहिया वाहन पार्किंग शुल्क: ₹10
फिलहाल पार्क में एंट्री पूरी तरह निःशुल्क है। इससे स्थानीय लोगों और पर्यटकों में खास उत्साह देखा जा रहा है। आने वाले समय में सुविधाओं के और विस्तार की योजना है।
जापान सरकार के सहयोग से विकास
खंभरा इको पार्क का विकास जापान सरकार के सहयोग से किया जा रहा है। यह परियोजना पर्यावरण संरक्षण और स्थानीय पर्यटन को बढ़ावा देने के उद्देश्य से शुरू की गई है। पूर्ण रूप से विकसित होने के बाद यह पार्क न केवल गिरिडीह बल्कि आसपास के जिलों के लिए भी एक बड़ा पर्यटन केंद्र बन सकता है।
सावधानियां और जिम्मेदारी
पार्क अभी विकासाधीन है, इसलिए पर्यटकों को सतर्क रहने की आवश्यकता है। प्रशासन और स्थानीय लोगों की ओर से अपील की गई है कि:
- कचरा इधर-उधर न फेंकें।
- प्लास्टिक का प्रयोग न करें।
- नशा और शोरगुल से बचें।
- निर्माणाधीन क्षेत्रों में सावधानी बरतें।
पर्यावरण को सुरक्षित रखना सभी की सामूहिक जिम्मेदारी है।
स्थानीय लोगों में उत्साह
खंभरा और आसपास के गांवों के लोगों का मानना है कि इको पार्क के विकास से क्षेत्र में रोजगार और स्थानीय अर्थव्यवस्था को बढ़ावा मिलेगा। छोटे व्यवसाय, चाय-नाश्ते की दुकानें और स्थानीय हस्तशिल्प को भी भविष्य में फायदा मिल सकता है।



न्यूज़ देखो: पर्यटन से बदलेगी बगोदर की तस्वीर
खंभरा इको पार्क का विकास बगोदर और गिरिडीह के लिए पर्यटन की नई संभावनाएं खोल रहा है। यदि सुविधाओं का विस्तार और रख-रखाव सही तरीके से किया गया, तो यह स्थान राज्यस्तरीय पहचान बना सकता है। अब यह देखना अहम होगा कि प्रशासन इस परियोजना को कितनी तेजी और गंभीरता से आगे बढ़ाता है।
हर खबर पर रहेगी हमारी नजर।
प्रकृति के साथ जुड़ने का अवसर
शहर की भीड़ से दूर सुकून भरे पल बिताने का मौका खंभरा इको पार्क दे रहा है।
प्रकृति का आनंद लें, लेकिन उसकी रक्षा करना न भूलें।
पर्यटन तभी टिकाऊ होगा जब हम जिम्मेदार बनें।
इस खबर को साझा करें, अपनी राय कमेंट में बताएं और स्थानीय पर्यटन को बढ़ावा देने में योगदान दें।




