झारखंड: झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन रविवार को राजभवन में राज्यपाल संतोष गंगवार से मुलाकात करेंगे और नई सरकार बनाने का दावा पेश करेंगे। झारखंड विधानसभा चुनावों में हेमंत सोरेन के नेतृत्व वाले झामुमो गठबंधन ने शानदार प्रदर्शन करते हुए 81 सीटों में से 56 पर जीत हासिल की है। यह बहुमत के लिए जरूरी 41 सीटों से काफी अधिक है।
राजभवन में शाम 4 बजे करेंगे मुलाकात
हेमंत सोरेन ने अपने मौजूदा मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने का फैसला किया है, ताकि नई सरकार के गठन का रास्ता साफ हो सके। वह आज शाम 4 बजे राज्यपाल से मुलाकात करेंगे और सरकार गठन के लिए समर्थन पत्र सौंपेंगे। झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) के नवनिर्वाचित विधायक और गठबंधन दलों के प्रतिनिधि सीएम कैंप कार्यालय में इस संबंध में बैठक कर चुके हैं।
झामुमो गठबंधन का ऐतिहासिक प्रदर्शन
इस चुनाव में झामुमो ने 34 सीटें जीतीं, जबकि कांग्रेस ने 16 और राजद ने 4 सीटें जीतीं। वहीं, भाजपा नीत एनडीए केवल 24 सीटों पर सिमट गया। झामुमो गठबंधन ने विपक्ष के भ्रष्टाचार और घुसपैठ जैसे मुद्दों को लेकर चलाए गए आक्रामक अभियान को बेअसर करते हुए यह ऐतिहासिक जीत दर्ज की।
बरहैट सीट पर सोरेन की भारी जीत
हेमंत सोरेन ने बरहैट विधानसभा क्षेत्र से शानदार जीत हासिल की। उन्होंने बीजेपी के गमलीएल हेम्ब्रम को 39,791 मतों के बड़े अंतर से हराया। सोरेन को 95,612 वोट मिले, जबकि हेम्ब्रम को 55,821 वोट प्राप्त हुए। यह उनकी चौथी बार मुख्यमंत्री बनने की राह को मजबूत करता है।
26 नवंबर को हो सकता है शपथ ग्रहण
सूत्रों के अनुसार, शपथ ग्रहण समारोह 26 नवंबर को आयोजित किया जा सकता है। इस समारोह में कई प्रमुख विपक्षी नेताओं, जैसे कांग्रेस नेता राहुल गांधी, राजद नेता तेजस्वी यादव और तृणमूल कांग्रेस की ममता बनर्जी के शामिल होने की संभावना है।
गठबंधन का नेतृत्व और सहयोगियों की भूमिका
झामुमो के नेतृत्व में बनी इस सरकार में कांग्रेस और राजद की महत्वपूर्ण भूमिका होगी। कांग्रेस के झारखंड प्रभारी गुलाम अहमद मीर ने पुष्टि की है कि हेमंत सोरेन ही गठबंधन के नेता होंगे। हालांकि, कांग्रेस उपमुख्यमंत्री पद की मांग कर सकती है, लेकिन इस पर निर्णय बाद में होगा।
सोरेन का लोकतंत्र पर भरोसा
चुनावों में जीत के बाद हेमंत सोरेन ने कहा, “गठबंधन ने लोकतंत्र की परीक्षा पास की है। यह जीत झारखंड के लोगों की उम्मीदों और आकांक्षाओं की जीत है।” इससे पहले, हेमंत सोरेन को प्रवर्तन निदेशालय द्वारा मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में गिरफ्तार किया गया था, लेकिन झारखंड हाई कोर्ट से जमानत मिलने के बाद उन्होंने जुलाई में मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी।
झारखंड की नई सरकार का मुख्य एजेंडा राज्य के विकास को गति देना और जनता की समस्याओं का समाधान करना होगा। झामुमो गठबंधन के इस प्रचंड बहुमत से झारखंड में राजनीतिक स्थिरता की नई शुरुआत होने की उम्मीद है।