
#मेदिनीनगर #बसस्टैंडजाम – दोपहर की तपती धूप में घंटों फंसी गाड़ियाँ, बेबस जनता और सिस्टम की ढीली पकड़
- छःमुहान बस स्टैंड के पास रोजाना लगता है भारी ट्रैफिक जाम
- बस चालकों की मनमानी और बीच रास्ते सवारी उठाना बना मुख्य कारण
- बस की सफाई भी सड़क पर होने लगी, जिससे बाधित हो रहा यातायात
- प्रशासन ने नियम बनाए, पर पालन में ढिलाई
- ट्रैफिक प्रभारी ने दी सख्त कार्रवाई की चेतावनी
- 11 से 3 बजे तक खाद्य वाहन पर रहेगा प्रवेश प्रतिबंध
जनता की रोजमर्रा की परेशानी : ट्रैफिक जाम बना अनचाहा हिस्सा
मेदिनीनगर का छःमुहान बस स्टैंड अब किसी बस अड्डे से ज़्यादा एक जाम का स्थायी ठिकाना बन चुका है। हर दिन यहाँ बसों के रेंगते पहिए और धूप में पसीना बहाते आम नागरिकों की लंबी कतारें दिखती हैं। समस्या की जड़ में हैं वे बस चालक, जो बस पड़ाव से निकलते ही रास्ते में हर जगह सवारी बैठाने के चक्कर में बस को रोक देते हैं।
रास्ता साफ होने के बावजूद भी बसें धीमी गति से आगे बढ़ती हैं और जहां सवारी दिखी, वहीं रोक दी जाती हैं। यही नहीं, कुछ चालक तो बस को सड़क पर खड़ा कर उसकी सफाई में जुट जाते हैं — नतीजा, जाम का तांडव। ई-रिक्शा, ऑटो, चारपहिया और दोपहिया वाहन सब एक ही लाइन में धूप, गर्मी और कुंठा के साथ खड़े दिखाई देते हैं।
नियम हवा में, परेशानी ज़मीन पर
हालांकि पहले नियम बनाया गया था कि बसें पड़ाव से छूटने के बाद कहीं नहीं रुकेंगी, परंतु कुछ ही दिनों में यह निर्देश कागजों तक सिमट गया। नतीजा, आज छःमुहान से लेकर जेलहाता तक जाम का आलम बना रहता है। प्रशासन की निष्क्रियता ने इन समस्याओं को और गहरा कर दिया है।
ट्रैफिक प्रभारी की सख्त चेतावनी : चालान के लिए तैयार रहें
“बस चालकों को चिन्हित कर तत्काल चालान काटा जाएगा। कोई भी बस रास्ते में रुकी, तो कार्रवाई होगी।”
— शामल अहमद, ट्रैफिक प्रभारी, मेदिनीनगर
शामल अहमद ने बताया कि यह निर्देश एसपी महोदया द्वारा सख्ती से दिया गया है कि दोपहर 11 से 3 बजे तक खाद्य सामग्री लाने वाले किसी भी वाहन को शहर में प्रवेश नहीं मिलेगा। इसका उद्देश्य है कि दोपहर 1 बजे से शुरू होने वाली स्कूल बसों की आवाजाही सुचारु रहे और ट्रैफिक में बाधा न आए।
उन्होंने यह भी कहा कि बस चालकों की मनमानी अब बर्दाश्त नहीं की जाएगी। रास्ते में रुककर सवारी भरना पूरी तरह से प्रतिबंधित किया जाएगा और इसके खिलाफ चालान की कार्रवाई की जाएगी।
शहर की उम्मीदें अब प्रशासन से
लोगों का कहना है कि यह सिर्फ ट्रैफिक जाम नहीं, बल्कि प्रशासनिक लापरवाही की तस्वीर है। हर दिन समय की बर्बादी, धैर्य की परीक्षा और असहनीय गर्मी अब लोगों की आदत में शुमार होती जा रही है।
जनता की उम्मीदें अब सिर्फ एक चीज़ पर टिकी हैं — कि प्रशासन अपने वादों को ज़मीन पर उतारे और इस समस्याग्रस्त क्षेत्र को राहत दिलाए।
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न्यूज़ देखो आपके शहर की हर सड़क, हर गली, और हर व्यवस्था की सच्चाई को उजागर करता है। ट्रैफिक जाम, अव्यवस्था और प्रशासनिक वादों की पड़ताल हम लगातार कर रहे हैं ताकि आप तक पहुंचे सटीक और भरोसेमंद खबरें।
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व्यवस्था में बदलाव की जरूरत
मेदिनीनगर के लोगों ने बहुत सह लिया है — अब वक्त है कि जिम्मेदारियां तय की जाएं और व्यवस्था सख्त बनाई जाए। बस चालकों की मनमानी, प्रशासन की ढिलाई और यातायात के नियमों की अनदेखी — ये सब मिलकर शहर को एक असहनीय जंजाल में ढकेल रहे हैं।
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