
#हजारीबाग #बाल_तस्करी : महावीर स्थान से अगवा किए गए 1.5 वर्षीय बालक को बेचने की थी साजिश — पुलिस की तत्परता से सकुशल बरामद, गिरोह के पांच सदस्य गिरफ्तार
- 1 जुलाई को लापता हुआ था 1.5 साल का शंकर, महावीर स्थान से उठा ले गए थे तस्कर
- पीड़िता मितु देवी के आवेदन पर दर्ज हुआ मामला, जांच में निकली मानव तस्करी की साजिश
- पुलिस टीम ने चलकुशा थाना क्षेत्र से बालक को सकुशल बरामद किया
- गिरफ्तार आरोपियों में महिला-पुरुष दोनों शामिल, हजारीबाग, गिरिडीह और सरिया से जुड़ाव
- एसडीपीओ अमित आनंद के नेतृत्व में बनी विशेष टीम, सभी आरोपी न्यायिक हिरासत में
मासूम को बेचने की साजिश में शामिल थे कई जिलों के आरोपी
हजारीबाग सदर थाना क्षेत्र में 1.5 वर्षीय मासूम शंकर को बेचने की मंशा से अगवा कर लिया गया था। शंकर की मां मितु देवी, पति राजु कुमार, निवासी शिवपुरी, कटकमदाग ने 6 जुलाई को सदर थाना में शिकायत दर्ज कराई। उन्होंने बताया कि 1 जुलाई को उनका बेटा महावीर स्थान से अचानक लापता हो गया।
जांच के क्रम में यह खुलासा हुआ कि शंकर को एक संगठित गिरोह द्वारा मानव तस्करी के उद्देश्य से अगवा किया गया था। सदर थाना में प्राथमिकी दर्ज होते ही पुलिस अधीक्षक के निर्देश पर अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी (SDPO) अमित आनंद के नेतृत्व में एक विशेष टीम का गठन किया गया।
चलकुशा थाना क्षेत्र से सकुशल बरामद हुआ बच्चा
टीम ने तेजी से कार्रवाई करते हुए आखिरकार चलकुशा थाना क्षेत्र में रहने वाली चिंता देवी के घर से बालक को सकुशल बरामद कर लिया। पुलिस ने तुरंत पूरे गिरोह को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेज दिया।
गिरफ्तार किए गए पांच आरोपियों में निम्नलिखित शामिल हैं:
- सुदीप कुमार स्वर्णकार
- सीमा शर्मा
- संजय कुमार
- सरिता देवी
- चिंता देवी
इनमें से कुछ आरोपियों का संबंध हजारीबाग, गिरिडीह और सरिया थाना क्षेत्रों से है। पुलिस के मुताबिक, ये लोग एक सुनियोजित तरीके से बच्चों को अगवा कर बेचने की फिराक में थे।
एसडीपीओ अमित आनंद ने बताया: “पुलिस ने समय रहते कार्रवाई कर एक मासूम की जान बचाई है और मानव तस्करी की बड़ी साजिश को विफल कर दिया गया है।”
पुलिस की तेज कार्रवाई ने रोकी बड़ी वारदात
इस मामले में सदर थाना प्रभारी सुभाष सिंह, अनुसंधानकर्ता राहुल कुमार, रमेश चंद्र हजाम, महिला आरक्षी, तथा अन्य पुलिसकर्मियों ने प्रभावी भूमिका निभाई। पुलिस टीम की सूझबूझ और तत्परता से यह मामला मानव तस्करी के जाल से बचा लिया गया।
आरोपियों के खिलाफ होगी कड़ी कार्रवाई
पुलिस द्वारा अब पूरे गिरोह के नेटवर्क की जांच की जा रही है, ताकि यह पता लगाया जा सके कि क्या और भी बच्चे इस गिरोह का शिकार हुए हैं। साथ ही, मानव तस्करी से जुड़े अन्य मामलों की भी नए सिरे से समीक्षा की जाएगी।
न्यूज़ देखो: पुलिस की सतर्कता ने बचाई मासूम की जिंदगी
यह घटना एक बार फिर साबित करती है कि यदि पुलिस तत्पर हो तो अपराधी कितना भी शातिर क्यों न हो, कानून के शिकंजे से बच नहीं सकता।
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सजग समाज ही सुरक्षित भविष्य की नींव है
अगर आपके आसपास कोई संदिग्ध गतिविधि या बच्चों से संबंधित असामान्य घटना दिखे, तो तुरंत नजदीकी थाना या हेल्पलाइन पर सूचित करें। आपकी सतर्कता किसी मासूम को जीवन दे सकती है। इस खबर को ज़्यादा से ज़्यादा साझा करें ताकि समाज को जागरूक किया जा सके।