
#देवघर #महायज्ञ : 25 नवंबर से 4 दिसंबर तक चलने वाले अतिरूद्र महायज्ञ और भागवत कथा के दौरान शहर में विशेष रूट डायवर्ट और पार्किंग की व्यवस्था लागू
- 25 नवंबर से 4 दिसंबर तक अतिरूद्र महायज्ञ और भागवत कथा का आयोजन।
- श्रद्धालुओं की अधिक भीड़ को देखते हुए देवघर में रूट डायवर्जन लागू।
- कांग्रेस कार्यालय कैंपस और क्लब ग्राउंड में पार्किंग की व्यवस्था।
- कई प्रमुख मार्गों पर नो-एंट्री और वन-वे सिस्टम लागू रहेगा।
- बाजला चौक, जैन मंदिर, आरएल सर्राफ स्कूल मोड़ से जुड़े मार्गों पर प्रतिबंध।
देवघर में आयोजित होने जा रहे अतिरूद्र महायज्ञ एवं श्रीमद भागवत कथा ज्ञानयज्ञ के दौरान भारी भीड़ की संभावना को देखते हुए प्रशासन ने शहर की ट्रैफिक व्यवस्था में बड़ा बदलाव किया है। 25 नवंबर से 4 दिसंबर तक चलने वाले इस महायज्ञ में श्रद्धालुओं की संख्या हजारों में पहुंचने की उम्मीद है, जिससे शहर के मुख्य मार्गों पर जाम की स्थिति बन सकती है। इसी वजह से नगरपालिका व पुलिस प्रशासन ने विशेष व्यवस्था करते हुए रूट डायवर्जन, पार्किंग स्थल और नो-एंट्री जोन तय किए हैं, ताकि शहर में यातायात सुगमता बनी रहे और श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पड़े।
भीड़ प्रबंधन के लिए पार्किंग की विशेष व्यवस्था
अतिरूद्र महायज्ञ में शामिल होने वाले श्रद्धालुओं के वाहनों को व्यवस्थित रखने के लिए दो प्रमुख स्थानों को पार्किंग स्थल के रूप में निर्धारित किया गया है।
कांग्रेस कार्यालय कैंपस को पार्किंग के रूप में चिह्नित किया गया है, जहां छोटे वाहनों को खड़ा किया जाएगा। इसके अलावा क्लब ग्राउंड के खाली मैदान को भी पार्किंग के लिए लिया गया है, ताकि बड़ी संख्या में आने वाले वाहनों को भी सुरक्षित और सुव्यवस्थित स्थान मिल सके।
इन दोनों स्थलों पर वाहनों की आवाजाही को नियंत्रित करने के लिए विशेष कर्मियों की तैनाती की जाएगी।
प्रमुख मार्गों पर प्रवेश निषेध और रूट डायवर्जन
आयोजन स्थल के आसपास भीड़ को नियंत्रित करने के लिए शहर के कई प्रमुख मार्गों पर प्रवेश प्रतिबंध लगाया गया है।
बाजला चौक सब्जी मंडी मोड़ से बाजला चौक की ओर सभी प्रकार के वाहनों का प्रवेश नहीं होगा। इन वाहनों को राज रेडियो मार्ग की ओर डायवर्ट किया गया है।
जैन मंदिर के पूर्वी क्षेत्र से आने वाले वाहन परशुराम चौक और बाजला चौक नहीं जा सकेंगे और इन्हें बजरंगी चौक की ओर भेजा जाएगा।
इसके अलावा आरएल सर्राफ स्कूल मोड़ से बाजला चौक और परशुराम चौक की ओर जाने वाले वाहनों का प्रवेश भी प्रतिबंधित कर दिया गया है। इन वाहनों को फव्वारा चौक यानी मीना बाजार की ओर मोड़ा जाएगा।
इन बदलावों का उद्देश्य भीड़भाड़ वाले क्षेत्रों में अचानक जमा होने वाली भीड़ को फैलाकर सुचारु आवाजाही सुनिश्चित करना है।
वन-वे सिस्टम के जरिए यातायात सुगमता
भागवत कथा के दिनों में विभिन्न मार्गों पर वन-वे सिस्टम लागू रहेगा। यह व्यवस्था खासकर उन सड़कों पर की गई है जहां सड़क का दायरा कम है या जहां पहले से ही भीड़भाड़ की समस्या रहती है। प्रशासन का कहना है कि वन-वे सिस्टम से न केवल जाम कम होगा बल्कि श्रद्धालुओं के पैदल आवागमन में भी सुविधा बढ़ेगी।
श्रद्धालुओं की सुरक्षा और सुविधा पर विशेष ध्यान
सभी रूटों पर सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत किया जा रहा है। पुलिस बल की अतिरिक्त तैनाती, दंडाधिकारी की निगरानी और ट्रैफिक पुलिस की सक्रिय मौजूदगी सुनिश्चित की गई है। आयोजन समिति ने भी प्रशासन के साथ समन्वय बनाकर भीड़ नियंत्रण में योगदान देने की तैयारी की है, ताकि हर श्रद्धालु सुरक्षित और सहज वातावरण में दर्शन और कथा का लाभ उठा सके।
न्यूज़ देखो: बेहतर प्रबंधन से बनेगा देवघर का मॉडल
देवघर प्रशासन द्वारा की गई यह व्यापक तैयारी बताती है कि बड़े धार्मिक आयोजनों के दौरान प्रबंधन कितना महत्वपूर्ण होता है। रूट डायवर्जन, वन-वे सिस्टम और पार्किंग की ठोस योजना से यह उम्मीद की जा सकती है कि शहर में भीड़ होने के बावजूद असुविधा कम होगी।
ऐसी पहलें अन्य शहरों के लिए भी उदाहरण बन सकती हैं, जहां धार्मिक या सांस्कृतिक आयोजनों के दौरान ट्रैफिक व्यवस्था चुनौती बन जाती है।
हर खबर पर रहेगी हमारी नजर।
आस्था और व्यवस्था का संतुलन बनाए रखने की जिम्मेदारी
देवघर में होने वाला अतिरूद्र महायज्ञ न सिर्फ धार्मिक आस्था का केंद्र है, बल्कि यह अवसर है कि हम सभी मिलकर अनुशासन और सामुदायिक सहयोग का उदाहरण पेश करें।
यातायात नियमों का पालन करना, निर्धारित पार्किंग का उपयोग करना और प्रशासन के निर्देशों का सम्मान करना हर नागरिक का दायित्व है।
आइए इस पावन आयोजन को सुव्यवस्थित और शांतिपूर्ण बनाने में अपना योगदान दें। अपनी राय कमेंट करें और इस खबर को अधिक से अधिक साझा करें, ताकि सभी लोग नई रूट व्यवस्था से अवगत रह सकें और भीड़ में फंसने से बच सकें।





