#खलारी #सावनकांवड़यात्रा : सावन के पावन महीने की शुरुआत के साथ ही खलारी प्रखंड के कई हिस्सों से बाबाधाम के लिए कांवरियों के जत्थे रवाना — हर-हर महादेव के जयघोष से गूंजे शिवालय
- सामु टोंगरी, होयर बस्ती, चुरी, अंबा व हुटाप बस्ती से जत्थे रवाना
- सभी श्रद्धालुओं ने खलारी पहाड़ी मंदिर में पूजा-अर्चना की
- सुल्तानगंज से जल लेकर कांवरियों ने बाबाधाम की यात्रा शुरू की
- शिवालयों में श्रद्धालुओं की भारी भीड़, भक्ति गीतों से गूंजा वातावरण
- श्रद्धा के साथ जल, दूध, बेलपत्र और पुष्प से किया गया शिवलिंग का अभिषेक
खलारी से बाबा धाम की ओर श्रद्धा यात्रा
सावन माह का आरंभ होते ही खलारी प्रखंड के विभिन्न गांवों से कांवरियों के जत्थे बाबा बैद्यनाथ धाम की ओर रवाना हो गए। सामु टोंगरी, होयर बस्ती, चुरी, अंबा टोंगरी और हुटाप बस्ती से सैकड़ों श्रद्धालुओं ने शिवभक्ति के उल्लास के साथ बोलबम के जयघोष लगाए और अपनी यात्रा प्रारंभ की।
सभी जत्थों ने रवाना होने से पूर्व खलारी स्थित प्रसिद्ध पहाड़ी मंदिर में विधिपूर्वक पूजा-अर्चना की। यहां श्रद्धालुओं ने भगवान शिव को जल, दूध, पुष्प व बेलपत्र अर्पित कर मनोकामना पूर्ण होने की कामना की।
सुल्तानगंज से जल लेकर कांवरियों की पदयात्रा
सभी कांवरिए सुल्तानगंज से गंगाजल लेकर पारंपरिक कांवड़ यात्रा के रूप में पैदल चलकर बाबा बैद्यनाथ धाम (देवघर) पहुंचेंगे। यह यात्रा शिवभक्ति, संयम और सेवा का प्रतीक मानी जाती है। जत्थों में युवाओं के साथ बुजुर्ग और महिलाएं भी शामिल हैं।
एक श्रद्धालु ने कहा: “हर साल सावन में बाबा को जल चढ़ाने की परंपरा निभाते हैं। इस बार भी पूरे गांव के साथ मिलकर यात्रा पर निकले हैं।”
शिवालयों में उमड़ी श्रद्धालुओं की भीड़
प्रखंड क्षेत्र के पहाड़ी मंदिर, जानकी मंदिर सहित अन्य सभी शिव मंदिरों में सावन के पहले सोमवार से ही श्रद्धालुओं की भीड़ जुटने लगी है। भक्तगण शिवलिंग पर जलाभिषेक, दूध चढ़ाने, बेल पत्र और पुष्प अर्पण में जुटे हैं।
शिवालयों में हर हर महादेव, ओम नमः शिवाय के जयघोष और भक्ति गीतों की मधुर गूंज वातावरण को भक्तिमय बना रही है। स्थानीय पुजारी और स्वयंसेवक श्रद्धालुओं की सेवा में लगे हैं।
श्रद्धा और आस्था का संगम
जानकी मंदिर के पुजारी श्रावणंद दुबे ने बताया कि “सावन का महीना भगवान शिव की आराधना के लिए विशेष रूप से महत्वपूर्ण है।” उन्होंने बताया कि जो भक्त निर्मल मन से जल, दूध, बेलपत्र, धतूरा, भांग और पुष्प चढ़ाता है, उसकी हर मनोकामना पूर्ण होती है।
इस पावन अवसर पर सभी शिवालयों में विशेष सजावट और आरती की व्यवस्था की गई है, ताकि श्रद्धालु शांतिपूर्ण ढंग से पूजा कर सकें।
न्यूज़ देखो: श्रद्धा और संस्कृति का अद्भुत मिलन
न्यूज़ देखो मानता है कि खलारी से बाबा धाम तक की यह यात्रा झारखंड की लोक परंपरा, धार्मिक आस्था और सामाजिक समरसता का परिचायक है। यह सिर्फ एक धार्मिक अनुष्ठान नहीं, बल्कि सामुदायिक एकजुटता और आत्मिक शांति का उत्सव है।
हर खबर पर रहेगी हमारी नजर।
भक्ति, समर्पण और सेवा के संग सावन का शुभारंभ
हर साल की तरह इस बार भी सावन ने पूरे झारखंड को शिवभक्ति में डुबो दिया है। आप भी इस ख़बर को अपने दोस्तों, परिवार और समुदाय के साथ साझा करें — ताकि हर कोई सावन की इस शुभ ऊर्जा का हिस्सा बन सके।