
#गढ़वा #मारपीट – छतरपुर गांव में विवाद के बाद एक युवक पर लाठी-डंडे से हमला — पंचायत अध्यक्ष अहमद अंसारी ने घायल को तुरंत पहुंचाया अस्पताल
- छतरपुर गांव में मारपीट की घटना में युवक गंभीर रूप से घायल
- बादल कुमार को गढ़वा सदर अस्पताल में कराया गया भर्ती
- पड़ोसी से विवाद के बाद लाठी-डंडे से किया गया हमला
- झामुमो के नवादा पंचायत अध्यक्ष अहमद अंसारी पहुंचे मौके पर
- घायल का इलाज शुरू, स्थिति बताई जा रही है स्थिर
छतरपुर गांव में विवाद बना मारपीट का कारण
गढ़वा थाना क्षेत्र के छतरपुर गांव में सोमवार को हुई मारपीट की घटना में बादल कुमार नामक युवक गंभीर रूप से घायल हो गया। प्राप्त जानकारी के अनुसार, किसी बात को लेकर उसका अपने पड़ोसी से विवाद हो गया था। विवाद ने धीरे-धीरे उग्र रूप ले लिया और पड़ोसी ने लाठी-डंडे से हमला कर दिया। हमले में बादल कुमार को गंभीर चोटें आईं।
घायल को इलाज के लिए सदर अस्पताल में भर्ती कराया गया
घटना के तुरंत बाद स्थानीय लोगों ने झारखंड मुक्ति मोर्चा के नवादा पंचायत अध्यक्ष अहमद अंसारी को सूचना दी। अहमद अंसारी तुरंत घटनास्थल पर पहुंचे और घायल युवक को अपने वाहन से गढ़वा सदर अस्पताल पहुंचाया। वहां उन्होंने डॉक्टरों से बात कर इलाज की समुचित व्यवस्था करवाई।
अहमद अंसारी ने कहा: “चाहे पंचायत क्षेत्र में हो या बाहर, जब भी कोई दुर्घटना या मारपीट होती है, तो मैं तुरंत घटनास्थल पर पहुंचता हूँ और घायलों के इलाज की पूरी व्यवस्था करता हूँ। यह हमारी सामाजिक जिम्मेदारी है, और इसे निभाते रहेंगे।”
पीड़ित की हालत स्थिर, पुलिस कर रही मामले की जांच
बादल कुमार की हालत अब स्थिर बताई जा रही है, और अस्पताल में उसका इलाज जारी है। इस घटना को लेकर स्थानीय पुलिस ने जांच शुरू कर दी है। हालांकि अभी तक किसी की गिरफ्तारी की पुष्टि नहीं हुई है, लेकिन पीड़ित पक्ष द्वारा लिखित शिकायत दिए जाने की जानकारी है।
न्यूज़ देखो: पंचायत प्रतिनिधियों की तत्परता बनी राहत की उम्मीद
जब प्रशासन या पुलिस देर से पहुंचती है, तब स्थानीय जनप्रतिनिधियों की सक्रियता आम लोगों के लिए बड़ी राहत साबित होती है। झामुमो के पंचायत अध्यक्ष अहमद अंसारी की त्वरित पहल से यह साफ है कि जब नेता संवेदनशील हों, तो व्यवस्था भी मानवता से भरी लगती है। ऐसे प्रयास आम जनमानस में सुरक्षा और भरोसे की भावना को मजबूती देते हैं।
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जागरूक नागरिक ही सुरक्षित समाज की नींव
घटना चाहे छोटी हो या बड़ी, समय पर मदद और सक्रियता से जीवन बचाए जा सकते हैं। हमें न केवल प्रशासन पर भरोसा रखना चाहिए, बल्कि खुद भी सचेत और जिम्मेदार नागरिक बनना चाहिए। इस खबर पर अपने विचार कमेंट करें, इसे रेट करें और अपने दोस्तों व परिजनों के साथ जरूर शेयर करें।