
#गढ़वा #पर्यावरण : मेन रोड पर नींबू और अमरूद के पौधे बांटकर लोगों से वृक्षारोपण की अपील
- जायंट्स ग्रुप ऑफ गढ़वा सहेली ने 200 नींबू और अमरूद के पौधे वितरित किए।
- कार्यक्रम की अध्यक्षता अध्यक्ष सुनीता केसरी ने की।
- मेन रोड पर स्टॉल लगाकर लोगों को जागरूक किया गया।
- पौधे लगाने और देखभाल की शपथ दिलाई गई।
- कार्यक्रम में पूर्व अध्यक्ष माला केसरी, रीता केसरी, रितु जायसवाल, वर्षा अग्रवाल, रीना केसरी, रीना सोनी और अन्य बहनें मौजूद रहीं।
गढ़वा में पर्यावरण संरक्षण को जन आंदोलन का रूप देने के लिए जायंट्स ग्रुप ऑफ गढ़वा सहेली ने विशेष पौध वितरण अभियान चलाया। शहर के मेन रोड पर लगाए गए स्टॉल के माध्यम से 200 नींबू और अमरूद के पौधे लोगों को भेंट किए गए। इस अवसर पर उपस्थित बहनों ने लोगों से न केवल पौधे लगाने, बल्कि उनकी देखभाल करने का भी संकल्प करवाया।
पौध वितरण से जागरूकता का संदेश
कार्यक्रम की अध्यक्षता सुनीता केसरी ने की, जिन्होंने बताया कि संस्था का उद्देश्य पर्यावरण संतुलन और स्वच्छ वातावरण बनाए रखने के लिए अधिक से अधिक लोगों को वृक्षारोपण से जोड़ना है। उन्होंने यह भी कहा कि पौधा लगाना एक बार का काम है, लेकिन उसकी देखभाल करना असली जिम्मेदारी है।
शपथ के साथ बढ़ा अभियान का असर
मेन रोड पर आए लोगों को पौधे बांटते समय एक विशेष शपथ दिलाई गई – कि वे पौधों को सही स्थान पर लगाकर उनकी नियमित देखभाल करेंगे। यह कदम सुनिश्चित करता है कि अभियान का असर केवल एक दिन तक सीमित न रहकर, आने वाले वर्षों तक दिखाई दे।
संगठन की सक्रिय भागीदारी
कार्यक्रम में पूर्व अध्यक्ष माला केसरी, रीता केसरी, रितु जायसवाल, वर्षा अग्रवाल, रीना केसरी, रीना सोनी और कई अन्य बहनों की सक्रिय मौजूदगी ने इसे और मजबूत बनाया। उपस्थित सभी ने एक स्वर में कहा कि यदि हर नागरिक साल में कम से कम एक पौधा लगाए और उसका पालन-पोषण करे, तो आने वाली पीढ़ियों के लिए हरा-भरा भविष्य सुनिश्चित किया जा सकता है।

न्यूज़ देखो: हर हाथ से एक पौधा – हर दिल में एक संकल्प
गढ़वा का यह अभियान दिखाता है कि छोटे-छोटे प्रयास भी बड़े बदलाव ला सकते हैं। 200 पौधों का वितरण सिर्फ़ एक आंकड़ा नहीं, बल्कि पर्यावरण के प्रति समाज की बढ़ती संवेदनशीलता का प्रमाण है।
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पौधों की देखभाल – आने वाले कल की तैयारी
आइए हम सब यह संकल्प लें कि हर पौधा सिर्फ़ मिट्टी में नहीं, बल्कि हमारे दिल में भी जड़े जमाए। इस खबर को साझा करें और अपने मित्रों-परिवार को भी पौधारोपण की इस हरित यात्रा से जोड़ें।