#गढ़वा #झामुमो : शहीद अब्दुल हमीद की प्रतिमा का विरोध कर रही भाजपा पर झामुमो ने साधा निशाना
- झामुमो जिलाध्यक्ष शंभु राम ने भाजपा पर लगाया शहीदों और महापुरुषों के अपमान का आरोप।
- शहीद अब्दुल हमीद की प्रतिमा का मझिआंव मोड़ पर विरोध बताया भाजपा की संकीर्ण सोच।
- कहा कि भाजपा ने बार-बार इतिहास से खिलवाड़ और महापुरुषों की विरासत को धूमिल करने का काम किया है।
- झामुमो ने ऐलान किया कि शहीदों के सम्मान के लिए सड़क से सदन तक संघर्ष होगा।
- कार्यक्रम में बड़ी संख्या में झामुमो कार्यकर्ता और नेता मौजूद रहे।
गढ़वा जिले में शहीद अब्दुल हमीद की प्रतिमा स्थापना को लेकर उठे विवाद ने राजनीति को गरमा दिया है। झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) ने भाजपा पर तीखा हमला बोलते हुए आरोप लगाया कि महापुरुषों और शहीदों का अपमान करना भाजपा की फितरत है। झामुमो जिलाध्यक्ष शंभु राम ने कहा कि देश के वीर सपूत और परमवीर चक्र विजेता शहीद अब्दुल हमीद की प्रतिमा का विरोध भाजपा की संकीर्ण मानसिकता का ताजा उदाहरण है।
शहीद अब्दुल हमीद की शौर्य गाथा और प्रतिमा विवाद
शंभु राम ने कहा कि 1965 के भारत-पाक युद्ध में शहीद अब्दुल हमीद ने अपने अदम्य साहस और पराक्रम से दुश्मन के कई पैटन टैंक ध्वस्त किए थे और वीरगति पाकर देश की रक्षा की थी। उन्होंने कहा कि ऐसे महान शहीद की प्रतिमा का विरोध केवल राजनीतिक स्वार्थ और नफरत की राजनीति है, जिसका गढ़वा की जनता कभी समर्थन नहीं करेगी।
शंभु राम ने कहा: “शहीदों और महापुरुषों की प्रतिमाएँ केवल मूर्तियाँ नहीं होतीं, बल्कि समाज को प्रेरणा देने वाली धरोहर होती हैं। भाजपा नेताओं के कदम साफ दिखाते हैं कि उन्हें राष्ट्रनायकों के सम्मान से कोई लेना-देना नहीं है।”
महापुरुषों की विरासत से खिलवाड़ का आरोप
झामुमो जिलाध्यक्ष ने कहा कि भाजपा नेताओं द्वारा समय-समय पर राष्ट्रपिता महात्मा गांधी और पंडित जवाहरलाल नेहरू जैसे महापुरुषों पर सोशल मीडिया में अपमानजनक टिप्पणियाँ की जाती रही हैं। यह प्रवृत्ति समाज को बाँटने और इतिहास को तोड़ने-मरोड़ने का प्रयास है। उन्होंने कहा कि जिले में पूर्व मंत्री मिथिलेश कुमार ठाकुर ने अपने कार्यकाल में गांधीजी, भगवान बिरसा मुंडा, राजमाता अहिल्या देवी, कर्पूरी ठाकुर, वीर बाबा चौहरमल, संत नरहरी और शहीद नीलाम्बर-पिताम्बर की प्रतिमाएँ स्थापित कर लोगों को उनके आदर्शों से जोड़ने का काम किया।
झामुमो का पलटवार और भाजपा पर सवाल
शंभु राम ने भाजपा नेताओं से सवाल किया कि यदि वे शहीदों और महापुरुषों का इतना सम्मान करते हैं तो आज तक किसी ने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की प्रतिमा क्यों नहीं लगवाई? उन्होंने कहा कि झामुमो इसके लिए जिला प्रशासन से जगह उपलब्ध कराने की माँग करने को तैयार है, लेकिन शहीद अब्दुल हमीद की प्रतिमा का विरोध किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
उन्होंने जिला प्रशासन से आग्रह किया कि ऐसे लोगों की पहचान कर उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए, जो शहीदों और महापुरुषों के सम्मान को ठेस पहुँचा रहे हैं।
जनसभा और झामुमो का ऐलान
गढ़वा में आयोजित कार्यक्रम में झामुमो जिलाध्यक्ष शंभु राम के साथ मदनी खान, नितेश सिंह, तनवीर खान, रौशन पाठक, संजय सिंह छोटू सहित हजारों कार्यकर्ता मौजूद रहे। सभा में सर्वसम्मति से यह प्रस्ताव पारित हुआ कि झामुमो शहीदों के सम्मान के लिए किसी भी स्तर पर भाजपा के विरोध का मुकाबला करेगा और जनता को सच्चाई से अवगत कराएगा।
न्यूज़ देखो: शहीदों के सम्मान पर राजनीति क्यों?
शहीद अब्दुल हमीद की प्रतिमा को लेकर छिड़ा विवाद बताता है कि राजनीति में संवेदनशील मुद्दों पर भी स्वार्थ साधने की कोशिश होती है। शहीदों का सम्मान किसी पार्टी या विचारधारा का विषय नहीं, बल्कि पूरे देश की जिम्मेदारी है।
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शहीदों के आदर्शों से सीखें और एकता को मजबूत करें
आज जरूरत है कि हम सभी शहीदों के बलिदान से प्रेरणा लेकर समाज में भाईचारा और एकता को मजबूत करें। राजनीतिक मतभेदों से ऊपर उठकर शहीदों और महापुरुषों का सम्मान करें। अपनी राय कॉमेंट में दें और इस खबर को अधिक से अधिक लोगों तक पहुँचाएँ।