Garhwa

कांडी विद्यालय विवाद : शिक्षक की मनमानी और अभिलेख छेड़छाड़ पर प्रिंस कुमार सिंह ने उठाई चिंता

Join News देखो WhatsApp Channel
#गढ़वा #शैक्षणिक_विवाद : कांडी उच्च विद्यालय में शिक्षक विवाद और अभिलेख छेड़छाड़ मामले में जिला शिक्षा अधीक्षक द्वारा दोषी पाए गए शिक्षक को अभी तक कार्रवाई का इंतजार
  • राजकीय कृत+2 उच्च विद्यालय कांडी में कुछ शिक्षक श्रीमती विद्यानी बाखला को प्रभारी के रूप में स्वीकार नहीं करना चाहते थे।
  • 26.04.24 को प्रोजेक्ट इंपैक्ट बैठक में आलाउद्दीन टीजीटी (उच्च विद्यालय हरिहरपुर) और आदित्य प्रसाद गुप्ता द्वारा प्रभारी को परेशान करने का प्रयास किया गया।
  • बैठक में हरिहरपुर विद्यालय का नाम नहीं था, फिर भी शिक्षक ने अनधिकृत रूप से पंजी में हस्ताक्षर और छेड़छाड़ की।
  • जिला शिक्षा अधीक्षक ने जांच में दोषी पाया (पत्रांक 1433/23/08/2025) परंतु अभी तक कोई सकारात्मक कार्रवाई नहीं हुई।
  • प्रिंस कुमार सिंह ने कहा कि कुछ तथाकथित लोग आदित्य प्रसाद गुप्ता का समर्थन कर रहे हैं, जबकि वास्तविकता में शिक्षक ने अपनी संलिप्तता स्वीकार की (17.06.25)।
  • परिषद ने चेतावनी दी कि इस तरह के घटनाक्रम क्षेत्र के शैक्षणिक वातावरण पर गंभीर असर डालते हैं।

गढ़वा के कांडी उच्च विद्यालय में शिक्षक विवाद ने शिक्षा क्षेत्र में चिंता बढ़ा दी है। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य प्रिंस कुमार सिंह ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से कहा कि कुछ शिक्षक श्रीमती विद्यानी बाखला को प्रभारी के रूप में स्वीकार नहीं करना चाहते थे। जब प्रयास विफल हुआ तो 26 अप्रैल 2024 को प्रोजेक्ट इंपैक्ट की बैठक में आलाउद्दीन टीजीटी और आदित्य प्रसाद गुप्ता ने प्रभारी को परेशान करने की कोशिश की।

शिक्षक की मनमानी और अभिलेख में छेड़छाड़

प्रिंस कुमार सिंह ने बताया कि शिक्षक ने अपने विद्यालय का प्रभार किसी को सौंपे बिना बैठक में हिस्सा लिया और पंजी में जालसाजी और छेड़छाड़ की। उन्होंने कहा कि शिक्षक का प्रथम कर्तव्य गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देना और शैक्षणिक, सामाजिक तथा नैतिक दायित्वों का पालन करना होता है। लेकिन यहां गुटबाजी और राजनीतिक मानसिकता के कारण छात्रों का भविष्य प्रभावित हो रहा है।

प्रिंस कुमार सिंह ने कहा: “शिक्षकों की मनमानी और अभिलेख में छेड़छाड़ से शैक्षणिक वातावरण पर गंभीर असर पड़ता है और छात्रहित में शीघ्र निपटारा आवश्यक है।”

जिला शिक्षा अधीक्षक की रिपोर्ट और लंबित कार्रवाई

जिला शिक्षा अधीक्षक ने जांच में दोषी पाए गए दोनों शिक्षकों के संबंध में रिपोर्ट जिला शिक्षा पदाधिकारी को भेजी थी (पत्रांक 1433/23/08/2025)। इसके बावजूद अभी तक कोई सकारात्मक कार्रवाई नहीं हुई। प्रिंस ने चेतावनी दी कि कुछ लोग दोषी शिक्षक का पक्ष ले रहे हैं, जबकि आदित्य प्रसाद गुप्ता ने अपनी संलिप्तता स्वीकार की है (17.06.25)।

परिषद और छात्रहित

अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने इस घटना को गंभीरता से लेते हुए कहा कि ऐसे माहौल से शैक्षणिक वातावरण प्रभावित होता है। परिषद ने विभाग से आग्रह किया कि छात्रहित को ध्यान में रखते हुए शीघ्र निपटारा सुनिश्चित किया जाए।

इस मौके पर नगर सह मंत्री लक्की कुमार और सदस्य आयुष दुबे भी उपस्थित रहे।

न्यूज़ देखो: शिक्षक विवाद से शिक्षा व्यवस्था में गहरी खाई

इस मामले से स्पष्ट होता है कि शिक्षक गुटबाजी और अभिलेख में छेड़छाड़ सीधे छात्र हित और शिक्षा गुणवत्ता को प्रभावित करती है। प्रशासन की सक्रिय निगरानी और शीघ्र कार्रवाई की आवश्यकता है ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाओं से छात्र समुदाय को सुरक्षित रखा जा सके।

हर खबर पर रहेगी हमारी नजर।

सजग रहें, शिक्षा में पारदर्शिता सुनिश्चित करें

शिक्षक और प्रशासन का दायित्व है कि छात्र हित को सर्वोच्च प्राथमिकता दें। अभिलेख छेड़छाड़ और गुटबाजी से बचें, और शैक्षणिक वातावरण को सुरक्षित बनाएं। अपनी राय साझा करें, खबर को दोस्तों तक पहुंचाएं और शिक्षा में पारदर्शिता और जवाबदेही फैलाने में सहयोग करें।

📥 Download E-Paper

यह खबर आपके लिए कितनी महत्वपूर्ण थी?

रेटिंग देने के लिए किसी एक स्टार पर क्लिक करें!

इस खबर की औसत रेटिंग: 5 / 5. कुल वोट: 1

अभी तक कोई वोट नहीं! इस खबर को रेट करने वाले पहले व्यक्ति बनें।

चूंकि आपने इस खबर को उपयोगी पाया...

हमें सोशल मीडिया पर फॉलो करें!

Radhika Netralay Garhwa
IMG-20250610-WA0011
IMG-20250925-WA0154
1000264265
Engineer & Doctor Academy
IMG-20250604-WA0023 (1)
IMG-20250723-WA0070
20250923_002035
आगे पढ़िए...

नीचे दिए बटन पर क्लिक करके हमें सोशल मीडिया पर फॉलो करें

Related News

ये खबर आपको कैसी लगी, अपनी प्रतिक्रिया दें

Back to top button
error: