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लातेहार में सिंचाई क्रांति की ओर बड़ा कदम — उत्तर कोयल परियोजना से बदलेगा चार जिलों का कृषि भविष्य

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#लातेहार #सिंचाईपरियोजना : 1368 करोड़ की उत्तर कोयल परियोजना से लातेहार सहित चार जिलों में खेती को नया जीवन मिलेगा
  • ₹1368 करोड़ की उत्तर कोयल जलाशय परियोजना अंतिम चरण में।
  • लातेहार, गढ़वा, पलामू और औरंगाबाद (बिहार) के किसानों को मिलेगा सीधा लाभ।
  • बरवाडीह, महुआडांड़, गारू सहित कई क्षेत्रों में अब तक वर्षा-निर्भर कृषि पर निर्भरता।
  • नहरों का चौड़ीकरण, मरम्मत और वितरण लाइनों का कार्य तेजी से जारी।
  • परियोजना पूरी होने पर किसानों की डीजल पंप पर निर्भरता घटेगी, खेती की लागत कम होगी।
  • कृषि विशेषज्ञों के अनुसार किसान दो से तीन फसल लेने में सक्षम होंगे, ग्रामीण अर्थव्यवस्था मजबूत होगी।

लातेहार जिले के लिए कृषि और सिंचाई के क्षेत्र में नई उम्मीद की किरण जग चुकी है। उत्तर कोयल जलाशय परियोजना, जिसकी कुल लागत ₹1368 करोड़ है, अब तेजी से अपने अंतिम चरण की ओर है। यह परियोजना न सिर्फ लातेहार बल्कि गढ़वा, पलामू और बिहार के औरंगाबाद जिले तक के किसानों को नई ऊर्जा देने वाली है। लंबे समय से वर्षा-निर्भर खेती का सामना कर रहे लातेहार के विभिन्न प्रखंडों में अब सिंचाई के पर्याप्त संसाधन उपलब्ध होने की उम्मीद है। परियोजना के तहत नहरों के विस्तार, मरम्मत और पानी वितरण की व्यवस्था को मजबूत करने का कार्य लगातार जारी है, जिससे अगली खेती के मौसम तक किसानों को वास्तविक लाभ मिलने की संभावना बढ़ गई है।

लातेहार के लिए क्यों महत्वपूर्ण है यह परियोजना

लातेहार जिले का एक बड़ा भूभाग आज भी वर्षा आधारित खेती पर टिके हुए है। विशेष रूप से बरवाडीह, लातेहार, महुआडांड़ और गारू जैसे क्षेत्रों में वर्षों से सिंचाई की समस्या ने कृषि विकास को बाधित किया है। लेकिन उत्तर कोयल जलाशय से मिलने वाले पानी के चलते अब जिले के खेत साल भर हरे-भरे रहने की संभावना बढ़ गई है।
विभागीय अधिकारियों के अनुसार नहरों का चौड़ीकरण, मरम्मत और लाइनों की निगरानी तेज की गई है ताकि अधिक से अधिक गांवों तक पानी पहुँचाया जा सके।

किसानों के लिए बड़े बदलाव की तैयारी

उत्तर कोयल परियोजना से मिलने वाली पानी की स्थाई उपलब्धता खेती की लागत में भारी कमी लाएगी। किसानों की डीजल पंपों पर निर्भरता घटेगी, जिससे ईंधन खर्च और सिंचाई की कठिनाई दोनों कम होंगी।
विशेषज्ञों का कहना है कि जिले के किसान अब धान, मक्का, सब्ज़ी, तिलहन और दलहन की खेती को वैज्ञानिक तरीके से विस्तार दे सकेंगे।

नीलांबर-पीतांबर विश्वविद्यालय क्षेत्र के कृषि विशेषज्ञों का मानना है कि यह परियोजना लातेहार के कृषि भविष्य को पूरी तरह बदल देगी। जब पूरे साल सिंचाई का पानी उपलब्ध होगा, तब किसान दो से तीन फसल लेकर अपनी आर्थिक स्थिति को काफी मजबूत कर सकेंगे। इससे स्थानीय बाजारों में भी कृषि उत्पादों की उपलब्धता बढ़ेगी और रोजगार के अवसरों का विस्तार होगा।

भूजल स्तर और पेयजल संकट पर भी पड़ेगा प्रभाव

यह परियोजना न केवल खेतों को पानी देगी, बल्कि इसका असर भूजल स्तर पर भी पड़ेगा। विशेषज्ञों का कहना है कि जब खेत नियमित रूप से सींचे जाएंगे, तो भूमिगत जल स्तर स्वाभाविक रूप से ऊपर आ जाएगा, जिसका प्रत्यक्ष लाभ गर्मियों में पड़ने वाले पेयजल संकट को कम करने में मिलेगा।
स्थानीय जनप्रतिनिधियों का भी मानना है कि परियोजना पूरी होते ही लातेहार जिले की स्थिति झारखंड के अग्रणी कृषि जिलों में शामिल होने की दिशा में मजबूत होगी।

सरकार की निगरानी और गुणवत्तापूर्ण कार्य का आश्वासन

सरकार और संबंधित विभागों की ओर से यह स्पष्ट किया गया है कि निर्माण की गुणवत्ता पर कोई समझौता नहीं किया जाएगा। अधिकारियों के अनुसार परियोजना को तय समय सीमा में पूरा करने की प्रक्रिया लगातार मॉनिटर की जा रही है, ताकि किसानों को जल्द से जल्द लाभ मिल सके।
स्थानीय लोगों की उम्मीदें भी इस परियोजना के साथ जुड़ी हुई हैं, जो इसे लातेहार के विकास का सबसे बड़ा अवसर मान रहे हैं।

न्यूज़ देखो: लातेहार की कृषि क्षमता को unlock करने वाला ऐतिहासिक अवसर

उत्तर कोयल परियोजना सिर्फ एक जलाशय नहीं, बल्कि लातेहार और आसपास के जिलों के लिए विकास का नया दरवाजा है। वर्षों की प्रतीक्षा के बाद अब जब यह परियोजना अंतिम चरण में है, तो किसानों के भविष्य को एक मजबूत आधार मिलने वाला है। सिंचाई, अर्थव्यवस्था और कृषि उत्पादन के स्तर पर यह पहल परिवर्तनकारी साबित हो सकती है। सरकार की सतत निगरानी और समय पर पूरा होने की प्रक्रिया से उम्मीदें और मजबूत होती दिख रही हैं।
हर खबर पर रहेगी हमारी नजर।

पानी से समृद्ध खेत, समृद्ध भविष्य — अब बदलाव की ओर कदम बढ़ाएँ

उत्तर कोयल परियोजना की प्रगति हमें याद दिलाती है कि सामूहिक प्रयास और सही दिशा में काम करना पूरे जिले का भविष्य बदल सकता है। जब खेतों में साल भर पानी उपलब्ध होगा, तो किसानों के सपने, युवाओं के अवसर और परिवारों की आय—सभी बढ़ेंगे। यह सिर्फ एक विकास परियोजना नहीं, बल्कि आने वाली पीढ़ियों के लिए मजबूत आधार है।
आइए, इस महत्वपूर्ण बदलाव को समर्थन दें, अपनी राय कमेंट में साझा करें, खबर को दोस्तों तक पहुँचाएं और जिले की इस बड़ी उपलब्धि को सबके बीच फैलाएँ।

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Sonu Kumar

लातेहार सदर प्रखण्ड

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