
#पटना #महावीरमंदिरठगी : राजधानी के प्रतिष्ठित महावीर मंदिर ट्रस्ट से नैवेद्यम सामग्री आपूर्ति के नाम पर बड़ा फर्जीवाड़ा — आचार्य किशोर कुणाल के निधन के बाद फरार हुआ ठग कारोबारी
- महावीर मंदिर ट्रस्ट से 20.27 लाख की ठगी
- नैवेद्यम प्रसाद सामग्री आपूर्ति के नाम पर लिया पैसा
- RTGS के माध्यम से ट्रस्ट ने भेजे थे रुपए
- आचार्य किशोर कुणाल की मृत्यु के बाद से संपर्क टूटा
- कोतवाली थाने में FIR, पुलिस ने जांच शुरू की
प्रसाद सामग्री आपूर्ति का झांसा देकर किया बड़ा फ्रॉड
पटना के महावीर मंदिर न्यास समिति से नैवेद्यम प्रसाद के लिए सामग्री आपूर्ति के नाम पर एक कारोबारी ने 20 लाख 27 हजार रुपए की ठगी कर ली। यह रकम आरटीजीएस के जरिए मंदिर ट्रस्ट ने आरोपी को दी थी, जो चना, गुड़, काजू और किशमिश जैसे नैवेद्यम प्रसाद के लिए जरूरी सामान की सस्ती दरों पर आपूर्ति करने का वादा कर रहा था।
आचार्य किशोर कुणाल से मुलाकात के बाद बनी योजना
महावीर मंदिर ट्रस्ट के सुपरिंटेंडेंट सुधाकरण ने बताया कि यह ठग आचार्य किशोर कुणाल के निधन से पहले उनसे मिला था और भरोसे में लेकर आपूर्ति सौदे की बात की थी। इसके बाद ट्रस्ट ने विश्वासपूर्वक उक्त कारोबारी को लाखों की रकम आरटीजीएस से ट्रांसफर कर दी। लेकिन आचार्य किशोर कुणाल की मृत्यु के बाद से वह व्यक्ति पूरी तरह से गायब हो गया।
ठग कारोबारी का कोई संपर्क नहीं, FIR दर्ज
सुधाकरण के अनुसार, वह व्यक्ति न तो फोन उठा रहा है और न ही किसी भी माध्यम से ट्रस्ट से संपर्क में आ रहा है। पुलिस को उसकी डिटेल सौंपी जा चुकी है, हालांकि अब तक उसका नाम सार्वजनिक नहीं किया गया है। इस सिलसिले में पटना के कोतवाली थाने में मामला दर्ज कराया गया है।
पटना पुलिस सूत्रों ने कहा: “हमने कारोबारी की पहचान कर ली है और उसकी गिरफ्तारी जल्द की जाएगी। प्रारंभिक जांच में यह आर्थिक अपराध का गंभीर मामला प्रतीत होता है।”
धार्मिक ट्रस्ट से ठगी ने खड़े किए सवाल
एक प्रतिष्ठित धार्मिक संस्था को इस तरह से चूना लगाया जाना न केवल कानून व्यवस्था बल्कि समाज में भरोसे के तानेबाने पर भी सवाल खड़ा करता है। महावीर मंदिर ट्रस्ट बिहार के सबसे श्रद्धेय धार्मिक संगठनों में एक है, और इस ट्रस्ट से जुड़े लेनदेन में इस तरह की धोखाधड़ी बेहद चिंताजनक है।
न्यूज़ देखो: आस्था के नाम पर छल, प्रशासन से कार्रवाई की अपेक्षा
महावीर मंदिर जैसी संस्था के साथ ठगी का यह मामला धार्मिक आस्था के साथ-साथ आर्थिक सुरक्षा को भी चुनौती देता है। प्रशासन को इस मामले में त्वरित, पारदर्शी और सख्त कार्रवाई करनी चाहिए ताकि भविष्य में कोई ठग इस तरह की योजना ना बना सके।
न्यूज़ देखो इस धोखाधड़ी की निंदा करता है और उम्मीद करता है कि अपराधी जल्द सलाखों के पीछे होगा।
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आर्थिक अपराधों के खिलाफ जागरूक समाज की जरूरत
धोखाधड़ी के मामलों में सख्ती के साथ-साथ जनजागरूकता भी बेहद जरूरी है।
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ध्यान रखें — सतर्कता ही सबसे बड़ा बचाव है।