हाइलाइट्स :
- मेदिनीनगर नगर निगम क्षेत्र में पानी की भयावह समस्या, कोयल नदी पूरी तरह सूखी।
- युवा भाजपा नेता आशीष भारद्वाज ने नगर निगम को पेयजल संकट से निपटने के लिए ज्ञापन सौंपा।
- निगम के नए क्षेत्रों में मूलभूत सुविधाओं की अनदेखी का लगाया आरोप।
- टैंकर से जल आपूर्ति बढ़ाने, जल संरक्षण उपाय लागू करने की मांग।
मेदिनीनगर में गहराता पेयजल संकट
मेदिनीनगर नगर निगम क्षेत्र में पेयजल संकट दिन-ब-दिन विकराल रूप लेता जा रहा है। गर्मी के कारण कोयल नदी पूरी तरह सूख चुकी है, जिससे नगर के जल स्रोत भी खत्म होने की कगार पर हैं। युवा भाजपा नेता आशीष भारद्वाज ने इस स्थिति को गंभीर बताते हुए नगर निगम को त्वरित समाधान करने की चेतावनी दी है।
नगर निगम से त्वरित कार्रवाई की मांग
आशीष भारद्वाज ने सहायक नगर आयुक्त को ज्ञापन सौंपते हुए बताया कि नगर निगम के नए क्षेत्रों जैसे निमिया, बाजराहा, सिंगरा, चियांकी, पोखराहा, सेमरटाड़ आदि में पानी की घोर किल्लत है। उन्होंने आरोप लगाया कि निगम इन इलाकों की अनदेखी कर रहा है और मूलभूत सुविधाएं देने में विफल हो रहा है। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि नगर निगम इन क्षेत्रों में जल आपूर्ति नहीं कर सकता तो राज्य सरकार से इन्हें निगम क्षेत्र से मुक्त करने की मांग की जाएगी।
जल संरक्षण के लिए आवश्यक उपाय
भारद्वाज ने नगर निगम से सेकंड फेज पाइपलाइन योजना, निमिया जलापूर्ति योजना, जल मीनार निर्माण, पम्पुकल के नए इंटेक वेल, पानसोखा और रेनवाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम को तेजी से लागू करने की मांग की। साथ ही, पेयजल वितरण के लिए टैंकरों की संख्या बढ़ाने और जल वितरण प्वाइंट्स की पहचान करने पर जोर दिया।
‘न्यूज़ देखो’ की नज़र हर मुद्दे पर
मेदिनीनगर में जल संकट गंभीर होता जा रहा है, लेकिन प्रशासन की तैयारियां अधूरी नजर आ रही हैं। यदि जल संकट से निपटने के लिए युद्ध स्तर पर कार्रवाई नहीं की गई तो यह स्थिति और भयावह हो सकती है। नगर निगम के दायित्व, सरकार की योजनाओं और जनता की समस्याओं पर ‘न्यूज़ देखो’ की पैनी नज़र बनी रहेगी। क्या नगर निगम और सरकार इस गंभीर समस्या का समाधान निकाल पाएंगे? या फिर जनता को हर साल इसी संकट से जूझना पड़ेगा?