हाइलाइट्स:
- आईपीएस दिव्यांश शुक्ला और आईएफएस नवनीथ बीआर के नेतृत्व में छापेमारी।
- 200 क्यूबिक फीट गोल लकड़ी और 100 क्यूबिक फीट आरा लकड़ी जब्त।
- लकड़ी की कीमत ₹3-4 लाख के बीच आंकी गई।
- महिला अधिकारियों की तैनाती से छापेमारी में कोई बाधा नहीं आई।
- हैदरनगर थाना क्षेत्र में भी अवैध आरा मशीन पकड़ी गई।
आईपीएस-आईएफएस के नेतृत्व में बड़ी कार्रवाई
वन विभाग और पुलिस की संयुक्त टीम ने आईपीएस दिव्यांश शुक्ला और आईएफएस नवनीथ बीआर के नेतृत्व में सलेमपुर, हैममपुर में एक अवैध चीरघर पर छापा मारा। इस दौरान 200 क्यूबिक फीट गोल लकड़ी और 100 क्यूबिक फीट आरा लकड़ी बरामद की गई, जिसका बाजार मूल्य करीब ₹3-4 लाख आंका गया है।
“हमारी टीम ने मशीनरी, ब्लेड और आरा लकड़ी को जब्त कर चीरघर को नष्ट कर दिया,” – आईपीएस दिव्यांश शुक्ला।
हालांकि, सॉमिल मालिक जस्मुद्दीन और उसका बेटा मौके से फरार हो गए।
महिला अधिकारियों की तैनाती से रोका गया प्रतिरोध
छापेमारी टीम में महिला पुलिस अधिकारी भी शामिल थीं, ताकि अपराधियों की सामान्य रणनीति को विफल किया जा सके। पहले की घटनाओं में अवैध लकड़ी कारोबारियों ने अपने परिवार की महिलाओं को आगे कर छापेमारी को बाधित किया था।
“डीएफओ सत्यम कुमार ने इस संभावित बाधा को ध्यान में रखते हुए टीम में महिला अधिकारियों को शामिल करने की सलाह दी थी,” – आईएफएस नवनीथ बीआर।
हालांकि, इस बार किसी प्रकार का प्रतिरोध नहीं हुआ, जिससे टीम ने बिना किसी बाधा के जब्ती की प्रक्रिया पूरी की।
हैदरनगर में भी अवैध आरा मशीन जब्त
वन विभाग ने हैदरनगर थाना क्षेत्र के रिगाडीह में भी कार्रवाई करते हुए अवैध आरा मशीन और बड़ी मात्रा में लकड़ी जब्त की।
“यह अभियान वन संपदा की रक्षा और अवैध लकड़ी कटाई रोकने के लिए चलाया गया,” – वन विभाग अधिकारी।
मौके से कुछ संदिग्धों को हिरासत में लिया गया, जिनसे पूछताछ जारी है।
पंचायत प्रतिनिधियों की भूमिका पर उठे सवाल
सूत्रों के अनुसार, मुखिया और अन्य पंचायत प्रतिनिधियों से भी पूछताछ की जा सकती है कि अवैध आरा मशीन उनके क्षेत्र में कैसे संचालित हो रही थी।
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