
#गिरिडीह #शिक्षा_गौरव : आदर्श कॉलेज राजधनवार के प्रो. युगल किशोर राय के पुत्र प्रतीक पद्मेश ने यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा 2024 में पाई 26वीं रैंक।
- प्रतीक पद्मेश ने पहले ही प्रयास में यूपीएससी परीक्षा 2024 में पाई 26वीं रैंक।
- आदर्श कॉलेज राजधनवार में जश्न का माहौल, शिक्षकों और छात्रों ने दी बधाई।
- प्राचार्य डॉ. बिमल कुमार मिश्र ने इसे पूरे क्षेत्र के लिए गौरवपूर्ण क्षण बताया।
- प्रो. युगल किशोर राय ने कहा — प्रतीक की सफलता परिवार और संस्थान का गर्व।
- प्रतीक ने कहा — सिलेबस की समझ और नियमित अध्ययन सफलता की कुंजी है।
गिरिडीह जिले के धनवार स्थित आदर्श कॉलेज राजधनवार के अंग्रेजी विभागाध्यक्ष प्रो. युगल किशोर राय के पुत्र प्रतीक पद्मेश ने संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) की सिविल सेवा परीक्षा 2024 में 26वीं रैंक प्राप्त कर जिले और पूरे झारखंड का नाम रौशन किया है। प्रतीक की इस उपलब्धि से कॉलेज परिसर और आसपास के क्षेत्र में हर्ष और गर्व का माहौल है।
कॉलेज परिसर में उल्लास का माहौल
जैसे ही परिणाम घोषित हुआ, आदर्श कॉलेज राजधनवार के शिक्षक और छात्र खुशी से झूम उठे। सभी ने प्रतीक की सफलता को संस्था की प्रतिष्ठा से जोड़ते हुए मिठाइयां बांटीं।
कॉलेज के प्राचार्य प्रो. डॉ. बिमल कुमार मिश्र ने इस सफलता को क्षेत्र का ऐतिहासिक क्षण बताया।
प्रो. मिश्र ने कहा: “यह सिर्फ प्रतीक या उनके परिवार की सफलता नहीं, बल्कि पूरे धनवार और गिरिडीह जिले का गौरव है। प्रतीक ने मेहनत और समर्पण से जो हासिल किया है, वह आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणा बनेगा।”
पिता की भावनाएं और परिवार का गर्व
प्रतीक के पिता प्रो. युगल किशोर राय, जो कॉलेज में अंग्रेजी विभागाध्यक्ष हैं, ने अपने पुत्र की सफलता पर खुशी जताते हुए कहा कि प्रतीक बचपन से ही अनुशासित, जिज्ञासु और अध्ययनशील रहा है।
प्रो. राय ने कहा: “प्रतीक ने हमेशा अपने लक्ष्य को स्पष्ट रखा और निरंतर मेहनत की। उसकी सफलता परिवार के लिए गर्व और पूरे संस्थान के लिए प्रेरणा का स्रोत है।”
सफलता का सूत्र — मेहनत और निरंतरता
सिविल सेवा परीक्षा में सफलता के अपने अनुभव साझा करते हुए प्रतीक पद्मेश ने कहा कि इस परीक्षा में सबसे महत्वपूर्ण है सिलेबस की गहन समझ, पिछले वर्षों के प्रश्नपत्रों का विश्लेषण और नियमित अध्ययन। उन्होंने बताया कि अपने पहले ही प्रयास में सफलता पाने का श्रेय वे समय प्रबंधन, निरंतर अध्ययन और परिवार के सहयोग को देते हैं।
प्रतीक पद्मेश ने कहा: “यूपीएससी तैयारी के लिए दृढ़ निश्चय, आत्मविश्वास और निरंतर अभ्यास जरूरी है। हर दिन थोड़ा-थोड़ा आगे बढ़ने का संकल्प ही बड़े लक्ष्य तक पहुंचाता है।”
शिक्षकों और छात्रों की ओर से शुभकामनाएं
कॉलेज के शिक्षकों ने प्रतीक को बधाई देते हुए कहा कि उनकी यह उपलब्धि झारखंड के ग्रामीण और अर्ध-शहरी युवाओं के लिए प्रेरणास्रोत बनेगी। छात्रों ने कहा कि प्रतीक ने यह साबित किया है कि अगर लक्ष्य स्पष्ट हो और मेहनत निरंतर हो, तो सफलता निश्चित है।
कॉलेज प्रशासन ने घोषणा की कि प्रतीक की इस उपलब्धि पर जल्द ही एक सम्मान समारोह आयोजित किया जाएगा।
न्यूज़ देखो: मेहनत और लगन से मिली प्रेरक सफलता
प्रतीक पद्मेश की कहानी उन युवाओं के लिए उदाहरण है जो सीमित संसाधनों के बावजूद बड़े सपने देखते हैं। उनकी सफलता यह दर्शाती है कि आत्मविश्वास और सतत प्रयास से कोई भी ऊंचाई हासिल की जा सकती है। गिरिडीह जैसे छोटे जिलों से निकलकर यूपीएससी जैसी कठिन परीक्षा में शीर्ष रैंक प्राप्त करना झारखंड की नई पीढ़ी की क्षमता को दर्शाता है।
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युवा प्रेरणा, शिक्षा और सफलता की मिसाल
प्रतीक पद्मेश की सफलता उन सभी छात्रों के लिए प्रेरणा है जो कड़ी मेहनत और समर्पण से अपने सपनों को साकार करना चाहते हैं। अब समय है कि हम सब युवाओं को प्रोत्साहित करें, शिक्षा के महत्व को समझें और अपने बच्चों में आत्मविश्वास भरें।
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