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कथावाचक से दुर्व्यवहार पर प्रांतीय यादव महासभा का आक्रोश, गढ़वा उपायुक्त को सौंपा गया ज्ञापन

#गढ़वा #विरोध : इटावा में धार्मिक कथावाचक के साथ हुए दुर्व्यवहार के विरोध में यादव महासभा ने जताया आक्रोश — प्रशासन से की कड़ी कार्रवाई और सुरक्षा की मांग

कथावाचक पर हुई घटना को बताया समाज के लिए शर्मनाक

गढ़वा जिला मुख्यालय में 28 जून को प्रांतीय यादव महासभा के एक प्रतिनिधिमंडल ने उपायुक्त दिनेश कुमार यादव को ज्ञापन सौंपा, जिसमें इटावा जिले में एक कथावाचक के साथ हुए दुर्व्यवहार की घटना पर गहरा विरोध प्रकट किया गया। महासभा ने इसे धार्मिक और सांस्कृतिक मूल्यों पर हमला बताते हुए दोषियों के खिलाफ शीघ्र और सख्त कार्रवाई की मांग की है।

प्रतिनिधिमंडल में शामिल रहे कई प्रमुख पदाधिकारी

ज्ञापन सौंपने पहुंचे प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व प्रदेश महासचिव अजय प्रसाद यादव ने किया। उनके साथ गढ़वा जिला महासचिव रंजीत यादव, सचिव अशोक यादव, युवा प्रकोष्ठ अध्यक्ष सोनू यादव, मीडिया प्रभारी संजय कुमार यादव, डंडई प्रखंड अध्यक्ष विनोद यादव, समाजवादी पार्टी जिलाध्यक्ष जयप्रकाश यादव समेत कई समाजसेवी और कार्यकर्ता मौजूद थे।

प्रदेश महासचिव अजय प्रसाद यादव ने कहा:
“कथावाचक केवल कथा नहीं कहते, बल्कि समाज की धार्मिक चेतना के संवाहक होते हैं। उनके साथ हुआ दुर्व्यवहार पूरी संस्कृति पर आघात है। यदि प्रशासन इस मामले में सख्त रुख नहीं अपनाता, तो महासभा को आंदोलन के लिए बाध्य होना पड़ेगा।”

प्रशासन से जांच और सुरक्षा की मांग

महासभा ने मांग की है कि इस प्रकरण की उच्चस्तरीय जांच कराई जाए, दोषियों के विरुद्ध कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित की जाए, और भविष्य में इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए कथावाचकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने हेतु व्यापक नीति बनाई जाए

समाज के स्वाभिमान के लिए जारी रहेगा संघर्ष

ज्ञापन के माध्यम से प्रतिनिधिमंडल ने यह स्पष्ट किया कि धार्मिक आस्था और संस्कृति के प्रति समाज पूरी तरह सजग है और यदि कोई इसके साथ छेड़छाड़ करेगा तो उसका विरोध हर मंच पर संगठित रूप से किया जाएगा। यह समाज अपने सम्मान और मूल्यों पर कभी समझौता नहीं करेगा

न्यूज़ देखो: संस्कृति की गरिमा के लिए जनप्रतिबद्धता

कथावाचक सिर्फ धार्मिक प्रसंग सुनाने वाले नहीं, बल्कि हमारी सांस्कृतिक विरासत के जीवंत प्रतीक होते हैं। उनके सम्मान की रक्षा समाज और प्रशासन दोनों की जिम्मेदारी है। गढ़वा में महासभा का ज्ञापन इस बात का स्पष्ट संकेत है कि अब धार्मिक अस्मिता के प्रति समाज सजग और एकजुट हो चुका है। न्यूज़ देखो हमेशा समाज की आवाज को मंच देता रहा है — और ऐसे हर अपमानजनक घटनाक्रम के खिलाफ आपकी संवेदना और एकजुटता को महत्व देता रहेगा।
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