गढ़वा: समाहरणालय सभागार में उपायुक्त-सह-अध्यक्ष जिला जल एवं स्वच्छता समिति (डीडब्लूएससी) शेखर जमुआर की अध्यक्षता में स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण) फेज-2 की समीक्षा बैठक आयोजित की गई। बैठक में जिले में चल रहे ठोस और तरल कचरा प्रबंधन सहित विभिन्न कार्यों की प्रगति का आकलन किया गया। साथ ही, वित्तीय वर्ष 2024-25 के लक्ष्यों को समय पर पूरा करने के निर्देश दिए गए।
कार्य की प्रगति और प्रमुख निर्देश
राज्य समन्वयक निरुपम नाथ ने पावर प्रजेंटेशन के माध्यम से जिले की प्रगति की जानकारी दी। बैठक में ठोस व तरल कचरे के निपटान और इलेक्ट्रॉनिक कचरा प्रबंधन पर चर्चा हुई। उपायुक्त ने कहा,
“स्वच्छ भारत मिशन का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता के स्तर को सुधारकर ओडीएफ प्लस गांव बनाना है।”
उन्होंने निम्नलिखित निर्देश दिए:
- अबुआ आवास योजना के लाभुकों को शौचालय योजना से जोड़ना।
- मनरेगा से 15 दिनों में नाडेप और सोखता गड्ढों का निर्माण पूर्ण कर उनका जियो टैगिंग करना।
- सभी निर्माण कार्यों का स्थल निरीक्षण और उनके शीघ्र पूर्णता पर जोर।
- सिंगल यूज प्लास्टिक पर पूर्ण प्रतिबंध सुनिश्चित करना।
सात प्रमुख घटकों पर जोर
उपायुक्त ने ओडीएफ प्लस के सात घटकों—खुले में शौच मुक्त स्थायित्व, ठोस व तरल कचरा प्रबंधन, गोबर-धन योजना, प्लास्टिक कचरा प्रबंधन, सुरक्षित माहवारी प्रबंधन, मलीय कचरा प्रबंधन, और ग्राम पंचायत स्तर पर सेग्रेशन शेड निर्माण—की प्रगति की समीक्षा की।
अन्य निर्देश और योजनाएं
- बाजारों में सामुदायिक शौचालय निर्माण।
- माहवारी स्वच्छता हेतु सभी राजस्व ग्रामों में भस्मक निर्माण।
- पंचायतों में प्लास्टिक कचरा प्रबंधन के लिए दिए गए वाहनों का संचालन और रखरखाव।
- ओडीएफ घोषित मॉडल ग्रामों का सत्यापन।
बैठक में भागीदारी
बैठक में उपायुक्त के साथ उप विकास आयुक्त पशुपतिनाथ मिश्रा, अपर समाहर्ता राज महेश्वरम, सिविल सर्जन डॉ. अशोक कुमार, प्रखंड विकास पदाधिकारी, अंचल अधिकारी, जिला जन-संपर्क पदाधिकारी नीरज कुमार, और अन्य संबंधित अधिकारी उपस्थित थे।
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