
#गढ़वा #जनसुनवाई : उपायुक्त ने फरियादियों की समस्याएं सुनकर त्वरित कार्रवाई के दिए निर्देश।
गढ़वा समाहरणालय सभागार में आयोजित जनसुनवाई कार्यक्रम में उपायुक्त दिनेश यादव ने आम नागरिकों की समस्याएं गंभीरता से सुनीं। जनसुनवाई में राशन कार्ड, पेंशन, भूमि विवाद, बैंक धोखाधड़ी, ऋण, रोजगार और मुआवजा जैसे मामलों को लेकर बड़ी संख्या में लोग पहुंचे। उपायुक्त ने प्रत्येक शिकायत पर संबंधित विभागीय पदाधिकारियों को समयबद्ध समाधान के निर्देश दिए। यह जनसुनवाई प्रशासन और आमजन के बीच सीधा संवाद स्थापित करने का सशक्त माध्यम बनी।
- गढ़वा समाहरणालय सभागार में उपायुक्त दिनेश यादव ने की जनसुनवाई।
- राशन, पेंशन, भूमि विवाद, बैंक फ्रॉड सहित कई शिकायतें सामने आईं।
- फर्जी निकासी और धोखाधड़ी के मामलों पर जांच के निर्देश।
- प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत ऋण न मिलने की शिकायत।
- परस्पर स्थानांतरण के लिए ग्राम रोजगार सेवकों ने रखा अनुरोध।
गढ़वा जिले में प्रशासनिक स्तर पर आमजनों की समस्याओं के समाधान के लिए उपायुक्त दिनेश यादव की अध्यक्षता में समाहरणालय स्थित सभागार में जनसुनवाई का आयोजन किया गया। इस जनसुनवाई में जिले के विभिन्न प्रखंडों से आए फरियादियों ने अपनी व्यक्तिगत और सामूहिक समस्याओं को उपायुक्त के समक्ष रखा। उपायुक्त ने एक-एक कर सभी आवेदनों को सुना और संबंधित विभागों के पदाधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।
भूमि विवाद और धोखाधड़ी का गंभीर मामला
जनसुनवाई में सबसे पहले रंका प्रखंड के रंका कला निवासी इस्माइल मियां ने अपने ही गांव के मुस्तकीम अंसारी पर धोखाधड़ी का आरोप लगाया। इस्माइल मियां ने बताया कि धोखे से उनकी जमीन लिखवा ली गई है। जमीन वापस मांगने या पैसे लौटाने पर टालमटोल किया जा रहा है।
उन्होंने भावुक होते हुए बताया कि आर्थिक तंगी के कारण उनके पुत्र का समय पर इलाज नहीं हो सका, जिससे उसकी मृत्यु हो गई। इस घटना के बाद वे मानसिक और आर्थिक रूप से पूरी तरह टूट चुके हैं। उन्होंने उपायुक्त से मामले की गहन जांच कर जमीन वापस दिलाने अथवा उचित मुआवजा दिलाने की मांग की। उपायुक्त ने संबंधित अंचल एवं राजस्व पदाधिकारियों को जांच कर रिपोर्ट देने का निर्देश दिया।
दिव्यांग को मुद्रा ऋण न मिलने की शिकायत
मेराल प्रखंड के दुलदुलवा निवासी संतोष कुमार गुप्ता ने प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत ऋण न मिलने की शिकायत दर्ज कराई। उन्होंने बताया कि वे एक दिव्यांग, असहाय और गरीब व्यक्ति हैं और उनका खाता झारखंड राज्य ग्रामीण बैंक में है, लेकिन बैंक द्वारा उन्हें मुद्रा ऋण नहीं दिया जा रहा है।
संतोष कुमार गुप्ता ने कहा कि ऋण मिलने पर वे स्वरोजगार शुरू कर अपने परिवार का भरण-पोषण कर सकते हैं। उपायुक्त ने बैंक प्रबंधन से समन्वय स्थापित कर मामले का शीघ्र समाधान करने के निर्देश दिए।
बैंक खाते से फर्जी निकासी का मामला
डंडई प्रखंड के ग्राम करके निवासी रामधनी यादव ने अपने बैंक खाते से फर्जी निकासी का मामला उठाया। उन्होंने बताया कि उनका खाता झारखंड राज्य ग्रामीण बैंक, डंडई शाखा में है, जिससे करीब ₹1,93,000 की राशि एक वर्ष पूर्व बिना उनकी जानकारी के निकाल ली गई।
रामधनी यादव ने बताया कि उन्होंने इस संबंध में डंडई थाना में शिकायत दर्ज कराई थी, लेकिन एक वर्ष बीत जाने के बावजूद कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई। उपायुक्त ने पुलिस और बैंक अधिकारियों को मामले की जांच कर उचित कार्रवाई और राशि वापस दिलाने के निर्देश दिए।
राशन कार्ड न बनने से परेशान गरीब महिला
नगर ऊंटारी प्रखंड के गंगटी निवासी चंद्रावती देवी ने राशन कार्ड नहीं बनने की शिकायत रखी। उन्होंने बताया कि उन्होंने एक वर्ष पूर्व ऑनलाइन आवेदन किया था, लेकिन अब तक उनका राशन कार्ड नहीं बना है।
चंद्रावती देवी ने कहा कि वे अत्यंत गरीब हैं और राशन कार्ड के अभाव में उन्हें सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं मिल पा रहा है। उन्होंने आवेदन संख्या के साथ उपायुक्त से राशन कार्ड बनवाने की गुहार लगाई। उपायुक्त ने आपूर्ति विभाग को त्वरित कार्रवाई के निर्देश दिए।
ग्राम रोजगार सेवकों ने रखा परस्पर स्थानांतरण का प्रस्ताव
जनसुनवाई के दौरान ग्राम रोजगार सेवक प्रमोद कुमार ने परस्पर स्थानांतरण (म्युचुअल ट्रांसफर) के लिए आवेदन दिया। उन्होंने बताया कि वे डंडा प्रखंड में कार्यरत हैं, जबकि उनका पैतृक आवास डंडई प्रखंड में है।
वहीं दूसरी ओर प्रेमचंद वर्मा डंडई प्रखंड में कार्यरत हैं और उनका आवास सदर प्रखंड गढ़वा में है। दोनों ने आपसी सहमति से स्थानांतरण की मांग रखी, ताकि उन्हें पारिवारिक और प्रशासनिक सुविधा मिल सके। उपायुक्त ने इस मामले को नियमानुसार विचार हेतु संबंधित विभाग को भेजने का निर्देश दिया।
अन्य समस्याओं पर भी हुई सुनवाई
इसके अलावा जनसुनवाई में पेंशन, आवास, अतिक्रमण, मुआवजा, रोजगार सृजन, बकाया मजदूरी भुगतान सहित कई अन्य मामलों को लेकर लोग पहुंचे। उपायुक्त दिनेश यादव ने सभी मामलों को गंभीरता से सुनते हुए संबंधित विभागीय पदाधिकारियों को समयबद्ध और पारदर्शी समाधान सुनिश्चित करने का निर्देश दिया।

न्यूज़ देखो: प्रशासन और जनता के बीच सेतु बनी जनसुनवाई
गढ़वा की यह जनसुनवाई दिखाती है कि प्रशासन यदि सीधे आमजन से संवाद करे, तो कई जटिल समस्याओं का समाधान संभव है। भूमि विवाद, बैंक धोखाधड़ी और सामाजिक सुरक्षा योजनाओं में देरी जैसे मुद्दे गंभीर हैं और इन पर त्वरित कार्रवाई आवश्यक है। अब देखना होगा कि दिए गए निर्देश जमीन पर कितनी तेजी से लागू होते हैं।
हर खबर पर रहेगी हमारी नजर।
प्रशासनिक संवेदनशीलता से ही मिलेगा भरोसा
आम जनता की समस्याएं कागजों में नहीं, ज़मीन पर हल होनी चाहिए।
जनसुनवाई जैसे मंच गरीब और कमजोर वर्ग के लिए उम्मीद की किरण हैं।
समय पर न्याय मिलने से ही प्रशासन पर विश्वास मजबूत होता है।
आप भी अपनी राय साझा करें, खबर को आगे बढ़ाएं और जनहित के मुद्दों को मजबूती दें।





