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गिरिडीह में इंटक के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्व. ददई दुबे को दी गई श्रद्धांजलि, श्रमिकों ने याद किए उनके संघर्ष

#गिरिडीह #ददईदुबे_श्रद्धांजलि : सीसीएल ऑफिसर्स क्लब बनियाडीह में इंटक के राष्ट्रीय अध्यक्ष चंद्रशेखर दुबे उर्फ ददई दुबे के निधन पर शोकसभा — श्रमिकों ने पुष्पांजलि अर्पित कर दी भावभीनी विदाई

सीसीएल गिरिडीह में गूंजा ददई बाबा का नाम

शनिवार, 12 जुलाई 2025 को गिरिडीह के सीसीएल ऑफिसर्स क्लब, बनियाडीह में एक भावुक श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया। यह आयोजन राष्ट्रीय कोलियरी मजदूर संघ (इंटक) के बैनर तले हुआ, जिसमें इंटक के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वर्गीय चंद्रशेखर दुबे उर्फ ददई दुबे को श्रद्धांजलि दी गई।

सभा का संचालन ओपन कास्ट गिरिडीह असंगठित इंटक के अध्यक्ष सह पंचायत समिति सदस्य मनोज दास ने किया, जबकि कार्यक्रम की अध्यक्षता कांग्रेस पार्टी के प्रदेश सचिव एवं इंटक के क्षेत्रीय अध्यक्ष ऋषिकेश मिश्रा ने की।

दो मिनट का मौन, श्रमिकों की श्रद्धांजलि

कार्यक्रम की शुरुआत में ददई दुबे की आत्मा की शांति हेतु उपस्थित सभी श्रमिकों ने दो मिनट का मौन रखा। सभा में वक्ताओं ने उन्हें “मजदूरों का मसीहा” बताया और उनके सामाजिक एवं राजनीतिक संघर्षों को याद किया।

ऋषिकेश मिश्रा ने कहा: “ददई बाबा ने श्रमिकों की आवाज को दिल्ली तक पहुंचाया। चाहे विधानसभा हो या संसद, उन्होंने कोयलांचल और लोहानचल के मजदूरों के हित में संघर्ष किया।”

मजदूर आंदोलन से संसद तक का सफर

स्वर्गीय चंद्रशेखर दुबे ने चार बार विधायक और एक बार सांसद के रूप में मजदूरों की समस्याओं को सदन में उठाया। ऋषिकेश मिश्रा ने बताया कि वे कोयला मंत्रालय की स्थायी समिति में श्रमिकों के पक्ष में आवाज उठाने वाले नेता थे और तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और कोयला मंत्री प्रकाश जायसवाल के समक्ष भी बेझिझक अपनी बात रखते थे।

साल 2016 में उनका आगमन सीसीएल गिरिडीह में भी हुआ था, जिसके बाद से वे लगातार गिरिडीह क्षेत्र के श्रमिकों के मुद्दों को राष्ट्रीय मंचों पर उठाते रहे

संगठन के वरिष्ठ और नवयुवक कार्यकर्ता रहे मौजूद

इस श्रद्धांजलि सभा में इंटक और रा. को. म. स. (राष्ट्रीय कोलियरी मजदूर संघ) से जुड़े वरिष्ठ, क्षेत्रीय, शाखा स्तरीय पदाधिकारी एवं श्रमिकों की भारी उपस्थिति रही।

उपस्थित प्रमुख पदाधिकारी:
मो. इकबाल (सचिव, रा.को.म.स.), दानिश (सहायक सचिव), राहुल विश्वकर्मा (शाखा सचिव), प्रकाश मंडल, सरफाज अंसारी (प्रभारी), रमेश कुमार झा (क्षेत्रीय उपाध्यक्ष), अजीत कुमार (पूर्व सचिव), जोगेंद्र दास, पंकज कुमार, saddam husain, इंदर चमार, वसीम अंसारी, किशोरी दूसाद, सलीम, इसफाक आदि।

असंगठित इंटक के प्रतिनिधि:
मनोज दास, सुरेश राय, मुकेश दास, विक्रम भवानी, शिव कुमार, रवि कुमार, शुभम, दिलीप राणा, नूनुलाल पासी, नोकलाल दास, रफीक अंसारी, नानू, सूरज समेत कई अन्य।

श्रद्धांजलि सभा भावनात्मक रूप से भरपूर रही, जिसमें सभी ने ददई बाबा के जीवन और योगदान को नमन करते हुए उन्हें श्रमिक आंदोलन का युगपुरुष बताया।

न्यूज़ देखो: श्रमिक हितों की लड़ाई का अमिट प्रतीक

ददई दुबे का जीवन जनसंघर्ष, श्रमिक सम्मान और राजनीतिक प्रतिबद्धता का ज्वलंत उदाहरण है। गिरिडीह में आयोजित यह श्रद्धांजलि सभा बताती है कि उनके जैसे जननेता सिर्फ वोट नहीं, विश्वास के प्रतीक होते हैं।
हर खबर पर रहेगी हमारी नजर।

प्रेरणादायक संघर्ष की स्मृति, श्रमिक शक्ति का सम्मान

स्व. ददई दुबे की विरासत आने वाली पीढ़ियों को संगठन, संघर्ष और सेवाभाव के मूल्यों से जोड़ती है। आप भी इस खबर को साझा करें और बताएं कि एक नेता का असली सम्मान उसके कार्यों की याद में होता है।
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