
#हजारीबाग #पुलिस_कार्रवाई : अवैध देह व्यापार के खिलाफ बड़ी रेड
- छह होटलों पर एक साथ छापेमारी कर सेक्स रैकेट का पर्दाफाश।
- पुलिस ने मौके से 23 युवक-युवतियों को गिरफ्तार किया।
- कार्रवाई में होटल रेस्टोरेंट 7 डेज, रुक्मणी, टू ईंट, स्पाइसी, सिद्धिविनायक और वर्णिका शामिल।
- गुप्त सूचना पर पुलिस अधीक्षक के निर्देश पर गठित टीम ने दबिश दी।
- होटल संचालकों से पूछताछ जारी, एफआईआर दर्ज कर जांच तेज।
हजारीबाग जिले में रविवार को पुलिस ने अवैध देह व्यापार के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की। मुफस्सिल थाना क्षेत्र स्थित रांची-पटना फोरलेन पर स्थित छह अलग-अलग होटलों में पुलिस ने एक ही समय पर छापेमारी कर पूरे इलाके में हड़कंप मचा दिया। इस दौरान पुलिस ने मौके से 23 युवक-युवतियों को गिरफ्तार कर लिया।
सूत्रों के अनुसार, हजारीबाग पुलिस अधीक्षक को गुप्त सूचना मिली थी कि जिले के कई होटलों में लंबे समय से अवैध देह व्यापार का कारोबार संचालित हो रहा है। इस सूचना के आधार पर तुरंत एक विशेष टीम गठित की गई और छापेमारी की योजना बनाई गई। रविवार की सुबह अलग-अलग दंडाधिकारियों की मौजूदगी में पुलिस ने यह कार्रवाई की।
जांच एजेंसी जैसी शैली में ऑपरेशन
इस कार्रवाई की शैली बिल्कुल किसी जांच एजेंसी के ऑपरेशन जैसी थी। छह टीमों को अलग-अलग होटलों पर एक साथ दबिश देने का निर्देश दिया गया। जिन होटलों पर कार्रवाई हुई, उनमें होटल रेस्टोरेंट 7 डेज, होटल रुक्मणी, होटल टू ईंट, होटल स्पाइसी, होटल सिद्धिविनायक और होटल रेस्टोरेंट वर्णिका शामिल हैं।
अचानक हुई छापेमारी से होटल संचालकों और वहां मौजूद लोगों में अफरा-तफरी मच गई। पुलिस की टीमों ने तुरंत घेराबंदी कर संचालकों और रैकेट में शामिल लोगों को मौके पर ही गिरफ्तार कर लिया।
पुलिस की आगे की कार्रवाई
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि इस छापेमारी में कुल 23 युवक-युवतियां पकड़े गए हैं। होटल संचालकों से पूछताछ की जा रही है और सभी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर कानूनी कार्रवाई की जा रही है। पुलिस अब इस रैकेट की जड़ों तक पहुंचने की कोशिश कर रही है, ताकि यह पता लगाया जा सके कि यह कारोबार कब से और किन लोगों की संलिप्तता से संचालित हो रहा था।
अवैध कारोबार पर कड़ा प्रहार
इस कार्रवाई ने हजारीबाग जिले में चल रहे अवैध गतिविधियों पर एक बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है। लंबे समय से यह नेटवर्क सक्रिय था और स्थानीय स्तर पर इसकी जानकारी आम लोगों के बीच चर्चा का विषय बनी हुई थी। पुलिस की यह सख्त कार्रवाई आने वाले समय में अन्य ऐसे नेटवर्क्स के लिए भी बड़ा संदेश साबित हो सकती है।
न्यूज़ देखो: अवैध धंधों पर नकेल कसने की जिम्मेदारी
हजारीबाग की यह कार्रवाई बताती है कि अवैध कारोबार चाहे कितना भी गुप्त क्यों न हो, कानून की पकड़ से बचना मुश्किल है। समाज और प्रशासन दोनों की जिम्मेदारी है कि इस तरह की गतिविधियों को जड़ से खत्म किया जाए और युवाओं को सुरक्षित भविष्य की राह दिखाई जाए।
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अवैध धंधों से मुक्त समाज की ओर कदम
अब समय है कि हम सब मिलकर ऐसे अवैध नेटवर्क्स को खत्म करने में प्रशासन का सहयोग करें। जागरूक नागरिक के तौर पर हमारी जिम्मेदारी है कि संदिग्ध गतिविधियों की सूचना तुरंत पुलिस तक पहुंचाएं। अपनी राय कॉमेंट करें और इस खबर को दोस्तों के साथ शेयर करें ताकि जागरूकता और मजबूत हो।