
#बानो #किसान_दिवस : कृषि विज्ञान केंद्र में किसानों के सम्मान के साथ योजनाओं और तकनीक पर चर्चा।
बानो स्थित कृषि विज्ञान केंद्र में मंगलवार को किसान दिवस श्रद्धा और जागरूकता के साथ मनाया गया। कार्यक्रम में जिला परिषद सदस्य बिरजो कंडुलना मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। किसानों के योगदान, सरकारी योजनाओं और वैज्ञानिक खेती की उपयोगिता पर विस्तार से चर्चा की गई। चयनित किसानों को सम्मानित कर उनके उत्साह को बढ़ाया गया, जिससे आयोजन का महत्व और बढ़ गया।
- कृषि विज्ञान केंद्र बानो में किसान दिवस कार्यक्रम आयोजित।
- मुख्य अतिथि जिला परिषद सदस्य बिरजो कंडुलना रहे उपस्थित।
- किसानों को सरकारी योजनाओं का लाभ लेने का आह्वान।
- वैज्ञानिक खेती से आमदनी बढ़ाने पर विशेषज्ञों ने दिया मार्गदर्शन।
- चयनित किसानों को शॉल और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया।
बानो प्रखंड स्थित कृषि विज्ञान केंद्र परिसर मंगलवार को किसान सम्मान और जागरूकता का साक्षी बना, जहां किसान दिवस के अवसर पर विशेष कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का उद्देश्य किसानों को उनके अधिकारों, सरकारी योजनाओं और आधुनिक कृषि पद्धतियों की जानकारी देना रहा। बड़ी संख्या में किसान और कृषि से जुड़े लोग कार्यक्रम में शामिल हुए।
मुख्य अतिथि का संबोधन
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित जिला परिषद सदस्य बिरजो कंडुलना ने किसानों को संबोधित करते हुए कहा कि भारत एक कृषि प्रधान देश है और किसानों की भूमिका देश की अर्थव्यवस्था की रीढ़ है। उन्होंने बताया कि हर वर्ष 23 दिसंबर को किसान दिवस मनाया जाता है, जो पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह के किसानों के प्रति योगदान की स्मृति में आयोजित होता है।
बिरजो कंडुलना ने कहा: “सरकार किसानों के विकास के लिए कई योजनाएं चला रही है, किसानों को चाहिए कि वे इन योजनाओं का पूरा लाभ लें और अपने जीवन स्तर को बेहतर बनाएं।”
उन्होंने किसानों से संगठित होकर नई तकनीकों को अपनाने और सरकारी सहायता का सही उपयोग करने की अपील की।
कृषि वैज्ञानिकों का मार्गदर्शन
कृषि विज्ञान केंद्र बानो के प्रधान व वरीय वैज्ञानिक सनत कुमार सबैया ने किसानों की वर्तमान स्थिति पर प्रकाश डालते हुए कहा कि आज भी किसान कई प्रकार की समस्याओं से जूझ रहे हैं। उन्होंने मनरेगा योजना के नए स्वरूप की जानकारी देते हुए बताया कि जी राम जी योजना के तहत रोजगार एवं आजीविका गारंटी के रूप में किसानों को अब 125 दिनों का रोजगार देने का प्रावधान है, जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।
वैज्ञानिक खेती और पोषण पर जानकारी
कार्यक्रम में डॉ. नीना भारती ने किसानों को किसान दिवस की शुभकामनाएं देते हुए वैज्ञानिक खेती के लाभ बताए।
डॉ. नीना भारती ने कहा: “यदि किसान वैज्ञानिक तरीके से खेती करें तो अच्छी आमदनी कमा सकते हैं। मडुवा या अन्य अनाजों को अंकुरित कर आटा बनाने से अधिक पौष्टिक भोजन मिलता है, जो स्वास्थ्य के लिए लाभकारी है।”
उन्होंने किसानों को पारंपरिक फसलों के साथ-साथ पोषण आधारित खेती अपनाने की सलाह दी।
किसानों का सम्मान
किसान दिवस के अवसर पर कृषि क्षेत्र में बेहतर कार्य करने वाले चयनित किसानों को शॉल ओढ़ाकर एवं प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया। इस सम्मान से किसानों में उत्साह देखने को मिला और अन्य किसानों को भी बेहतर कार्य करने की प्रेरणा मिली।
कार्यक्रम में उपस्थित लोग
इस अवसर पर वैज्ञानिक नीना भारती, सुलेन भुइयां, राजेश बड़ाईक सहित कृषि विज्ञान केंद्र के अन्य कर्मी और बड़ी संख्या में किसान उपस्थित थे। सभी ने किसान दिवस को सार्थक बताते हुए ऐसे कार्यक्रमों की निरंतरता पर जोर दिया।
न्यूज़ देखो: किसान जागरूकता की दिशा में अहम कदम
कृषि विज्ञान केंद्र बानो में आयोजित किसान दिवस कार्यक्रम यह दर्शाता है कि किसानों को केवल सम्मान ही नहीं, बल्कि सही जानकारी और मार्गदर्शन देना भी उतना ही जरूरी है। वैज्ञानिकों और जनप्रतिनिधियों की साझा पहल किसानों के भविष्य को मजबूत बना सकती है। अब आवश्यकता है कि योजनाएं धरातल पर प्रभावी रूप से लागू हों और किसानों तक उनका वास्तविक लाभ पहुंचे। हर खबर पर रहेगी हमारी नजर।
सम्मान और ज्ञान से सशक्त होगा किसान
किसान दिवस केवल एक आयोजन नहीं, बल्कि किसानों के आत्मसम्मान और सशक्तिकरण का प्रतीक है। जब किसान को सही जानकारी, तकनीक और सम्मान मिलता है, तो उसका आत्मविश्वास बढ़ता है।





