
#हजारीबाग #घाघराडैमदुर्घटना – मुख्यमंत्री योजना के प्रचार में आए दो युवा रील बनाते समय डूबे — 100 फीट की ऊंचाई से गिरकर दोनों की मौके पर ही मौत
- मुख्यमंत्री मंईयां सम्मान योजना के प्रचार के दौरान हुआ हादसा
- दोनों युवक रांची से भेजे गए प्रचार वाहन के सदस्य थे
- घाघरा डैम पर रील बनाते वक्त फिसलने से गिरे, मौत
- हादसे में मृतकों की पहचान आशीष पासवान और विशाल राम के रूप में हुई
- पुलिस ने शव कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा
- एक अन्य युवक को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया
रील बनाते समय फिसलकर डूबे दो युवक
हजारीबाग जिले के केरेडारी प्रखंड में सोमवार, 3 जून को शाम लगभग 4 बजे मुख्यमंत्री मंईयां सम्मान योजना के प्रचार-प्रसार के दौरान दो युवकों की घाघरा डैम में डूबने से मौत हो गई। मृतक युवकों की पहचान आशीष कुमार पासवान (22 वर्ष) और विशाल कुमार राम (20 वर्ष) के रूप में हुई है। दोनों युवक सूचना एवं जनसंपर्क विभाग, रांची द्वारा भेजे गए प्रचार वाहन के साथ केरेडारी पहुंचे थे।
डैम की सुंदरता कैमरे में कैद करने की कोशिश बनी काल
हादसा उस वक्त हुआ जब दोनों युवक हेवई पंचायत के अंतर्गत घाघरा डैम की सुंदरता को कैमरे में कैद करने के लिए वहां रील बना रहे थे। अचानक एक युवक का पैर फिसल गया और वह नीचे गिरने लगा। दूसरा युवक उसे बचाने के प्रयास में खुद भी गिर पड़ा। दोनों लगभग 100 फीट की ऊंचाई से डैम में गिरे, जिससे सिर में गंभीर चोटें आईं और मौके पर ही उनकी मौत हो गई।
पुलिस और प्रशासन की तत्परता
घटना की सूचना मिलते ही हेवई पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि अमित दुबे ने पुलिस को सूचना दी। केरेडारी थाना प्रभारी विवेक कुमार अपने दल-बल के साथ मौके पर पहुंचे और दोनों शवों को कब्जे में लेकर हजारीबाग मेडिकल कॉलेज पोस्टमार्टम के लिए भेजा।
केरेडारी थाना प्रभारी विवेक कुमार ने बताया: “दोनों शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है और मामले की विस्तृत जांच की जा रही है।”
तीसरे युवक से की जा रही पूछताछ
प्रचार वाहन में सवार तीसरे युवक को पुलिस ने पूछताछ के लिए हिरासत में लिया है। हालांकि अब तक उसकी कोई आपराधिक भूमिका सामने नहीं आई है, परंतु जांच जारी है। घटना की खबर जैसे ही मृतकों के गांवों में पहुंची, वहां मातम छा गया और क्षेत्र में शोक की लहर दौड़ गई।
न्यूज़ देखो: योजनाओं के प्रचार में सुरक्षा का सवाल
यह दर्दनाक हादसा उन सवालों को जन्म देता है जो सरकारी अभियानों में सुरक्षा उपायों की अनदेखी से जुड़े हैं। जब युवा किसी योजना के प्रचार में लगे हों, तो उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करना भी उतना ही जरूरी है जितना प्रचार-प्रसार। सूचना विभाग और स्थानीय प्रशासन को चाहिए कि प्रचार के दौरान संवेदनशील स्थलों पर विशेष सतर्कता बरती जाए और कर्मियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए जाएं।
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सावधानी ही सुरक्षा की पहली शर्त
आज की डिजिटल दुनिया में रील बनाना आम बात है, पर यह घटना बताती है कि प्राकृतिक स्थलों पर जोखिम को हल्के में नहीं लिया जाना चाहिए। जागरूकता और सतर्कता ही जीवन की रक्षा कर सकती है। आइए, हम सभी ऐसी घटनाओं से सबक लें और सुरक्षित रहने की संस्कृति को बढ़ावा दें।
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